वेंटीलेटर पर बड़ा अस्पताल

Date:

DSC_0647-186x300रेजीडेंट के बाद सेवारत डॉक्टर और नर्सिंगकर्मी भी हड़ताल पर

उदयपु र। रेजिडेंट और सेवारत डॉक्टरों की हड़ताल के चलते एमबी अस्पताल की व्यवस्थाएं पूरी तरह तहस-नहस हो गई है। अस्पताल प्रशासन का कहना है कि स्थिति नियंत्रण में हैं और सीनियर डॉक्टर दिन-रात व्यवस्थाओं को देख रहे हैं, जबकि हकीकत कुछ और ही है। एमबी अस्पताल में चिकित्सा सेवा की बदतर हालत और इलाज के लिए लंबी लाइन के चलते मरीजों ने अब निजी अस्पतालोंं का रूख कर लिया है। मरीजों को उनके परिजन वार्ड छोड़ कर ले जा रहे हैं। कोई भी ऑपरेशन नहीं हो पा रहा है। संभाग का सबसे बड़ा अस्पताल बिना डॉक्टरों के पंगु बना हुआ है। दूसरी ओर रेजिडेंट डॉक्टरों को किसी की परवाह नहीं है। वे एक तरह से अपनी दादागिरी पर अड़े हुए हैं।

बेहाल मरीज:

गोगुंदा से 14 वर्षीय ढोला मीणा के हाथ की हड्डी टूट गई। उसको उसके पिता सुबह आठ बजे लेकर आए और 11 बजे तक ढोला का कोई एक्सरे तक नहीं किया गया। डॉक्टर को दिखाने के लिए उसको अपने कराहते बच्चे को घंटो लाइन में लगा रहना पड़ा।

65 वर्षीय उर्मी बाई हाई ब्लड प्रेशर के कारण सीरियस हालत में अपनी बेटी के साथ सुबह आई और 11 बजे तक उसकी बेटी सिर्फ डॉक्टर को ही खोजती रही कि किसको दिखाया जाए।

देवेन्द्र प्रजापत की तबीयत बिगडऩे पर उसकी पत्नी उसको अस्पताल लेकर आई। तबीयत इतनी ज्यादा खऱाब थी की उसको भर्ती करना चाहिए था, लेकिन डॉक्टर ने मना कर दिया कि वार्ड में कोई व्यवस्था नहीं है। आउटडोर की हालत इतनी खराब है कि 10 बजे तक तो सिर्फ मेडिसिन विभाग को छोड़कर बाकी मरीजों ने दूसरे निजी अस्पतालों का रूख पकड़ लिया।

इमरजेंसी बेहाल:

इमरजेंसी में भी ये ही हाल है। वहां दो ट्रेनी डॉक्टर बैठे हैं और कोई भी गंभीर मरीज आता है, तो सीनियर डॉक्टर का इंतजार किया जाता है, जो घंटो में होता है और हर एक बात के लिए टेलीफोन पर सीनियर डॉक्टर से सलाह ली जाती है ।

वार्ड खाली:

पिछले तीन दिन से चली आ रही हड़ताल की वजह से अस्पताल के सभी वार्ड 60 प्रतिशत से ज्यादा खाली हो चुके हैं। कइयों को छुट्टी दे दी गई है, तो कुछ खुद ही दूसरे अस्पताल चले गए। वार्डों में कोई देखने वाला नहीं है। मरीज की हालत खऱाब होने पर उन्हें कोई दवाई लिखने वाला नहीं है।

DSC_0637-300x199रेजीडेंट नाचने-गाने में मस्त:

मरीजों को मौत के मुंह में तड़पता हुआ छोड़कर रेजीडेंट डॉक्टर बिना किसी अंकुश के अपनी मस्ती में मस्त है। रेजीडेंट पीजी हॉस्टल से गणेश जी की प्रतिमा का विसर्जन करने मस्ती में नाचते गाते रवाना हुए।

सेवारत डॉक्टर भी हड़ताल पर:

अपनी 13 सूत्रीय मांगों को लेकर सेवारत डॉक्टर भी हड़ताल पर चले गए हैं। हालांकि उनके हड़ताल पर जाने का एमबी अस्पताल में कोई विशेष फर्क नहीं पडऩे वाला हैं, क्योंकि प्राचार्य एसके कौशिक के अनुसार एमबी अस्पताल में लगभग 10 सेवारत डॉक्टर है, लेकिन ऐसी परिस्थितियों में उनका ना होना भी मरीजों की परेशानी बढ़ा रहा है।

 

नर्सिंग कर्मी भी हड़ताल पर:

रेजीडेंट डॉक्टर की हड़ताल से परेशान एमबी अस्पताल को संविदा नर्सिंग कर्मियों की हड़ताल से भी लडऩा पड़ रहा है। ये नर्सिंगकर्मी आज सुबह आठ से 10 बजे तक स्थाई नियुक्ति को लेकर दो घंटे की हड़ताल पर रहे। इनके समर्थन में पूर्णकालिक नर्सिंग कर्मी काली पट्टी बांधकर सेवाएं दे रहे हैं।

 

रेजीडेंट डॉक्टर हमारे हॉस्पीटल की बैक बॉन है। उनके हड़ताल पर चले जाने से व्यवस्थाओं पर फर्क पड़ा है, लेकिन फिर भी मरीजों को ज्यादा परेशानी का सामना नहीं करना पड़ रहा है। स्थिति हमारे नियंत्रण में हैं।

-डॉ. एसके कौशिक, प्राचार्य, आरएनटी मेडिकल कॉलेज

Shabana Pathan
Shabana Pathanhttp://www.udaipurpost.com
Contributer & Co-Editor at UdaipurPost.com

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Share post:

Subscribe

spot_imgspot_img

Popular

More like this
Related

Slotmaschinen Inoffizieller mitarbeiter ragnarok Slot -Spiel Angeschlossen Kasino Aufführen

ContentRagnarok Slot -Spiel | Beste Echtgeld Spielautomaten AngeschlossenGamomat Casinos...

Mirana out of Marmoreal Fandom

ArticlesAlice-in-wonderland ApparelVideo gamesLight KingSold-out Art DirectoryLoved ones informationJabberwocky ( She...

Tiki Rainbow Position Realize The brand new 2025 Review to play into the Paradise

ArticlesMake the most of Greater Playing AlternativesRainbow Coloured HasSummary...