उदयपुर। आजकल का मौसम बच्चों की सेहत पर भारी पड़ रहा है। दिन और रात के टेम्प्रेचर में बहुत ज्यादा डिफरेंस होने की वजह से बच्चों को कोल्ड डायरिया, निमोनिया, साइनोसाइटिस, अस्थमा जैसी बीमारियां अपने शिकंजे में ले रही हैं। आलम ये हं कि केवल हैलट और उर्सला की ओपीडी में डेली ३०० से ज्यादा पेशेंट्स पहुंच रहे हैं।
फेफड़ों पर पड़ रहा है असर: इस मौसम में डेंगू का प्रकोप पहले ही लोगों को परेशान कर रहा है। अब बदलते मौसम ने बच्चों की बीमारियां बढ़ गई हैं। निमोनिया से होने वाली मौतों की वजह से मृत्यु दर में इजाफा हो रहा है। निमोनिया में बच्चों के फेफड़ों की झिल्ली में सूजन आने लगती है। इसके इलाज में देरी जानलेवा होती है।
इनका रखें खयाल
:निमोनिया के सिम्पटम्स
:फेफड़ों में इंफेक्शन के साथ खांसी आना
:सीने में खडख़ड़ाहट
:हल्का बुखार, सांस लेने में तकलीफ
:चेहरा नीला पडना, पसली चलना
:कमजोरी महसूस होना
कोल्ड डायरिया के सिम्पटम्स
:भूख न लगना, कपकपी लगना
:पानी की कमी के साथ पैरों में एठन
:सुस्ती लगना, जी मिचलाना, पेट में दर्द
अस्थमा के सिम्पटम्स
:रात में लेटते वक्त सांस फूलना
:सीने में सीटी की आवाजें आना
:दम घुटना
:घबराहट, बैचेनी और उलझन के साथ उल्टियां आना
:पूरे शरीर में कम्पन होना
साइनोसाइटिस के सिम्पटम्स
सर्दी के मौसम में दिन का तापमान अधिक और रात के तापमान में कमी की वजह से नेजल म्यूकस मैम्बरेन में ड्राइनेस की वजह से खुस्की हो जाती है।
जिसकी वजह से आधी रात में बच्चों को ‘नाक बंद होनाÓ होने लगती है। ऐसे में बच्चों को मुंह से सांस लेनी पड़ती है।
विंटर अल्टीकेरिया
सर्दी के मौसम में वुलेन स्वेटर या फिर रात में ब्लेंकेट ओढने से बच्चों में खुस्की हो जाती है। इसे विंटर अल्टीकेरिया कहा जाता है। इस प्रॉब्लम से बचने के लिए वुलेन स्वेटर और ब्लेंकेट्स को धूप में रखने के बाद ही यूज करना चाहिए।
कैसे कर बच्चों के सुरक्षा
:बच्चों को सुबह-सुबह बाहर न निकलने दें।
:बच्चों को बाहर ले जाने से पहले फुली कवर्ड करके चलें।
:कोल्ड डायरिया से बचने के लिए ओआरएस या सोडियम, पोटेशियम का घोल देते रहें।
:हाथ-पैर में एठन से बचने के लिए जिंक का घोल देना चाहिए।
:बच्चों को समय-समय पर इम्युनिटी बूस्टर देते रहना चाहिए, जिससे उनका इम्युनिटी सिस्टम मजबूत बना रहे।
:बच्चों को गुनगुने पानी से ही नहलाएं।
:बच्चों को खट्टी, ठंडी और ऑयली फूड कम से कम देना चाहिए।
:बच्चों को नंगे पैर न चलने दें।
:नाक बंद होने पर कभी भी नेजल ड्रॉप न डालें, इसके बजाय गर्म पानी की भांप दे सकते हैं।
:इस मौसम में बच्चों को खास ख्याल रहने चाहिए। इस मौसम में बच्चों को पूरा कवर करके रखना चाहिए। बच्चों को ठंडी वस्तु का सेवन नहीं करना चाहिए। इस मौसम में शहर के एमबी अस्पताल में ८० प्रतिशत बच्चे बीमार हो रहे हैं।
-डॉ. लाखन पोसवाल, चाइल्ड स्पेशलिस्ट, एमबी अस्पता
इस मौसम में बच्चों का रखे खयाल
कांग्रेस सरकार की नीतियों ने किसानों को खेती करने से रोका है : भींडर
भींडर। वल्लभनगर विधानसभा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी रणधीरसिंह भीण्डर ने क्षेत्र के बग्गड़, अडि़न्दा, बाठेड़ाखुर्द आदि ग्राम पंचायतों के गांवों का दौरा किया। इस दौरान भींडर ने कहा कि कांग्रेस सरकार की नीतियों की वजह से आज सैकड़ों किसानों को खेती करना बंद कर दिया है। इस सरकार ने नए बिजली कनेक्शन नहीं दिए अैर तीन फेज अनियमित कनेक्शनों पर हद से ज्यादा रुपए लेने लग गए हैं। भींडर ने रविवार को बग्गड़, ब्राह्मणों की तलाई, बाठेड़ा की ढाणी, विलखावास, धोलीमगरी, ब्राह्मणों का फला, कच्छेर की ढाणी, कच्छेर, कालीघाटी, बाठेड़ाखुर्द सहित कई गांवों का दौरा करके ग्रामीणों से अपने चुनाव चिह्न बैट के निशान पर मतदान करने की अपील की। इस दौरान भींडर के साथ छोगालाल दक, परस राम सोनी, धर्मराल रावत, भैरूलाल, हीरालाल, सरदार सिंह, ऊंकारलाल, परसराम, अर्जुनलाल, राधेश्याम, गणेशगिरी गोस्वामी, लक्ष्मीलाल, जुगल किशोर आदि कार्यकर्ता साथ थे।
भींडर का हुआ भव्य स्वागत:
इन सभी स्थानों पर निर्दलीय प्रत्याशी रणधीर सिंह भींडर का ग्रामीणों व समर्थकों ने ढोल-नगाड़ों के साथ मेवाड़ी पगड़ी व साफा एवं फुलमालाएं पहनाकर भव्य स्वागत किया। कई स्थानों पर बालिकाआें ने भींडर की आरती उतार कर पूजा भी की। इस दौरान हर स्थान पर भींडर का गुड़ खिलाकर मुंह मिठा करवाया गया।
वाहन जब्त करने के दो दिन बाद कहते हैं जरूरत नहीं
उदयपुर। चुनाव ड्यूटी में वाहन लगाने के लिए आरटीओ और ट्रैफिक पुलिस वाले अंधाधुंध गाडिय़ां पकड़ रहे हैं, उन्हें बाड़े (रेलवे ट्रेनिंग स्कूल) में खड़ा किया जा रहा है। जिन गाडिय़ों की जरूरत नहीं है, उन्हें भी पर्चा पकड़ा कर खड़ी कर दी गई है। कई वाहन मालिकों को दो दिन उनके वाहन खड़ा करने के बाद अब कहा जा रहा है कि आपके वाहनों की जरूरत नहीं है। इन्हें ले जाओ। ऐसे में वाहन मालिकों में इस बात को लेकर गुस्सा है कि दो दिन वाहन खड़ा कर दिया गया और अब उसके नुकसान की भरपाई भी नहीं की जा रही है। ऐसे कई वाहन रेलवे ट्रेनिंग स्कूल के ग्राउंड में खड़े है, जिनकी चुनाव ड्यूटी में कोई जरूरत नहीं थी। फिर भी उन्हें पकड़ कर यहां लाया गया। ट्रकों के मालिक करणसिंह की दोनों ट्रकें शनिवार को आरटीओ ने चुनाव ड्यूटी के लिए पकड़ कर रेलवे ट्रेनिंग ग्राउंड में खड़ी करवा दी थी और आज सुबह उन्हें कह दिया गया कि आप की दोनों गाडिय़ा वापस ले जाओ, इनकी अब जरूरत नहीं है। करणसिंह ने दो दिन के भुगतान के लिए कहा, तो मना कर दिया गया। उन्हें बताया गया कि इनका उपयोग ही नहीं हुआ, तो भुगतान किस बात का? आरटीओ के अधिकारी भी इस मामले की स्थिति स्पष्ट नहीं कर पा रहे हैं। रेलवे ट्रेनिंग ग्राउंड में ऐसे कई वाहन मालिक है, जिनकी बड़ी गाडिय़ां जब्त तो कर ली, लेकिन उनका कोई उपयोग नहीं है और अब उन्हें बिना भुगतान के वापस भेजा रहा है।
झील किनारे धड़ल्ले से हो रहा है अवैध निर्माण
उदयपुर। पूरा प्रशासनिक अमला विधानसभा चुनाव में लगा है। ऐसे में निर्माण निषेध क्षेत्र में अवैध निर्माणकर्ताओं की बल्ले-बल्ले हो गई है। इस क्षेत्र में पहले तो चोरी छुपे निर्माण करवाया जाता था, लेकिन अब दिन-दहाड़े झील के ठीक पास में निर्माण हो रहे हैं। चांदपोल पुलिया के ठीक पास में एक पुराने भवन में दिन-रात निर्माण कार्य चल रहा है, जहां पर्दे लगाकर निर्माण कार्य किया जा रहा है।
हाईकोर्ट के स्पष्ट आदेश है कि निर्माण निषेध क्षेत्र में किसी भी तरह का निर्माण मान्य नहीं होगा, लेकिन विधानसभा चुनाव के दौरान इन आदेशों की खुलकर धज्जियां उड़ाई जा रही है। चांदपोल पुलिया के पास झील से सटे पुराने भवन में ग्राउंड फ्लोर का निर्माण पूरा कर लिया गया है। अब निर्माणकर्ता द्वारा दूसरी मंजिल पर निर्माण करवाया जा रहा है। हैरत की बात तो यह है कि बजरी खनन पर रोक के बावजूद इस अति व्यस्त इलाके में निर्माणकर्ता दो नंबर में बजरी भी निर्माण स्थल तक पहुंचा रहा है, लेकिन कोई उसे रोकने-टोकने वाला नहीं है। निर्माणकर्ता ने निर्माणस्थल के चारों तरफ ग्रीन रंग के पर्दे ढांक रखे हैं, जिनके पीछे दिन-रात निर्माण चल रहा है। इतने बड़े निर्माण की जानकारी नगर निगम के किसी भी अधिकारी या कर्मचारी को नहीं होना, हैरत की बात है।
इसी प्रकार हरिदासजी की मगरी, अंबावगढ़ सहित अन्य निर्माण निषेध क्षेत्र में भी निर्माण कार्य चल रहे हैं, जिन पर कोई प्रशासनिक अंकुश नहीं है।
:चुनाव में व्यस्तता का फायदा उठाकर निर्णाण निषेध क्षेत्र में लोग काम करवा रहे हैं। नगर निगम ने ऐसी कोई निर्माण की स्वीकृति नहीं दी है। यदि झील किनारे निर्माण हो रहा है, तो आज ही निर्माण कार्य रूकवाया जाएगा।
-हिम्मतसिंह बारहठ, आयुक्त, नगर निगम
प्रजापत बना गवाह
उदयपुर। यौन शोषण के मामले में फरार नारायण सांई की सहयोगिनी गंगा बेन उर्फ धर्मिष्ठा को रामा गांव में शरण देने वाले शंकरलाल प्रजापत को सूरत (गुजरात) पुलिस ने मामले में गवाह बना लिया। साक्ष्य संकलन व गवाही के लिए प्रजापत रविवार को पुलिस के साथ सूरत गया।
पुलिस ने बताया कि सूरत में पीडिता ने आसाराम सांई के पुत्र नारायण सांई व उसकी प्रमुख सहयोगी गंगा उर्फ धर्मिष्ठा, जमना उर्फ भावना पटेल व रसोइयां हनुमान उर्फ कौशल ठाकुर के विरूद्ध दुष्कर्म सहित विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज करवाया था। नामजद होने के बाद गंगा अपने पति झारखण्ड (बिहार) निवासी प्रशांत मिश्रा के साथ रामा गांव में साधक शंकरलाल प्रजापत के मकान में आ छिपी। सुखेर थानाधिकारी गजेन्द्रसिंह को सूचना मिलने पर उन्होंने गत 7 नवम्बर को गंगा उसके पति प्रशांत के रामा गांव में गिरफ्तार किया। गंगा से पूछताछ के बाद सूरत पुलिस ने नारायण साई को गिरफ्तार करने के लिए कई जगह दबिश दी, लेकिन उसका पता नहीं चला। पुलिस का का कहना है कि गिरफ्तार गंगा के साथ ही जमना भी मामले मे आरोपी है।
पुलिस ने शंकरलाल प्रजापत को बताया कि वह गंगा के पति प्रशांत उर्फ प्रमोद को जानता था। अहमदाबाद के आश्रम में वह दर्शन और सेवा-अर्चना के दौरान उसकी पूरी मदद करता था। उदयपुर आने से पूर्व प्रमोद ने फोन कर उसे कहा कि छुटि्टयां होने से वह नाथद्वारा व अन्य जगह घूमना चाहता है। साधक ने आने का न्योता दिया तो वह पत्नी गंगा को लेकर रामा गांव पहुंच गया। शंकर का कहना है कि गंगा नारायण साई की सहयोगिनी थी और गुजरात में उसके खिलाफ वारंट जारी हुआ था। वह इसके बारे में नहीं जानता था।
शंकर का कहना है कि गांव आने के तीन चार दिन बाद प्रमोद बीमार हो गया। तबियत ज्यादा खराब होने पर एक बार दोनों यहां से चले गए, लेकिन चार दिन बाद वापस लौट आए। रामा गांव में रहने के दौरान गंगा ने जमना से सम्पर्क साधा हो या या आरोपी बहने आपस में सम्पर्क में रही है। इन सब कारणों को जानने के लिए सुबह सूरत पुलिस ने रामा गांव आकर प्रजापत से पूछताछ की। कई ग्रामीणों से जानकारी भी ली।
आरुषि मामला: तलवार दंपति अब हाई कोर्ट जाएँगे
गाजियाबाद में सीबीआई की एक विशेष अदालत ने राजेश तलवार और नूपुर तलवार को अपनी बेटी आरुषि की हत्या का दोषी पाया है.
सीबीआई की एक विशेष अदालत ने सोमवार को कहा कि दोनों अभियुक्त धारा 302 और 201 के तहत दोषी हैं. इसके अलावा राजेश तलवार को फर्जी एफआईआर दर्ज कराने के लिए धारा 203 के तहत भी दोषी पाया गया.
अदालत अब मंगलवार को दोषियों को सजा सुनाएगी. फिलहाल तलवार दंपति को हिरासत में लेकर डासना डेल भेज दिया गया है.
फैसले के तुरंत बाद राजेश और नूपुर तलवार ने एक बयान जारी कर कहा, “हम फैसले से काफी निराश, दुखी और आहत महसूस कर रहे हैं.”
उन्होंने बयान में कहा, “हम अभी हारे नहीं हैं और न्याय के लिए लड़ाई जारी रहेगी.”
तलवार के वकील सत्यकेतु सिंह ने कहा, “कोई सबूत नहीं है. फैसला निराशाजनक है. यह गलत है.”
दूसरी ओर सीबीआई के वकील आर के सैनी का आरुषि मामले पर बताया, “अदालत ने कहा कि परिस्थितियों के मुताबिक इस अपराध को अंजाम देने के लिए वहां कोई दूसरा मौजूद नहीं था.”
सनसनीख़ेज हत्या
करीब साढ़े पांच साल पहले हुई आरुषि और उनके घरेलू नौकर हेमराज की सनसनीखेज हत्या के बाद सीबीआई की एक विशेष अदालत ने सोमवार को फैसला सुनाया.
इस दौरान आरुषि मामले में कई नाटकीय मोड़ और बदलाव आए.
विशेष जज एस लाल ने करीब 15 महीने तक चली सुनवाई के बाद इस मामले में फैसला सुनाया.
तलवार दंपति पर अपनी 14 वर्षीया बेटी और नौकर की हत्या के साथ ही सबूतों से छेड़छाड़ करने का भी आरोप था और अभी तक वे जमानत पर थे.
आरुषि और हेमराज की हत्या 15-16 मई 2008 को की गई थी.
इसके बाद उत्तर प्रदेश पुलिस और सीबीआई की जांच में कई नाटकीय मोड़ देखने को मिले.
सुरक्षा के भारी इंतजाम
इससे पहले सुबह सीबीआई कोर्ट के आस-पास सुरक्षा बढ़ा दी गई थी. गाजियाबाद के पुलिस अधीक्षक मुनिराज ने बताया कि अदालत के बाहर तीन डीएसपी, तीन स्टेशन ऑफिसर, 90 सिपाही और पीएसी की एक टुकड़ी को तैनात किया गया था.
इस हत्याकांड को मीडिया में काफी अधिक कवरेज मिली.
उत्तर प्रदेश पुलिस से शुरुआत में संदेह जताया कि हेमराज ने आरुषि की हत्या की और वो हत्या करके भाग गया लेकिन अगले ही दिन 16 मई को तलवार के फ्लैट की छत पर हेमराज का शव मिला.
इसके बाद एक नाटकीय घटनाक्रम के तहत शक की सुई राजेश तलवार पर आ गई और उन्हें उत्तर प्रदेश पुलिस ने हिरासत में ले लिया.
पिता पर शक
पुलिस ने आरोप लगाया कि आरुषि की हत्या किसी और ने नहीं बल्कि उसके पिता ने ही की है.
मीडिया में इस केस को लेकर बढ़ती दिलचस्पी को देखते हुई उत्तर प्रदेश की तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने इस मामले को सीबीआई के सौंप दिया.
शुरुआती जांच में सीबीआई किसी नतीजे तक नहीं पहुंच सकी. इसके बाद सीबीआई के संयुक्त निदेशक जावेद अहमद की अगुवाई में एक नई टीम का गठन किया गया.
इसके अलावा एसपी नीलाभ किशोर को इस केस से जोड़ा गया और उन्हें अपनी जांच टीम चुनने की पूरी आजादी दी गई.
करीब एक साल की जांच के बाद इस टीम ने कहा कि परिस्थितिजन्य साक्ष्य राजेश तलवार की भूमिका की ओर संकेत करते हैं.
क्लोजर रिपोर्ट हुई खारिज
इसके बाद टीम ने 29 दिसंबर 2010 को अपर्याप्त सबूतों का हवाला देते हुए क्लोजर रिपोर्ट दाखिल की लेकिन जिला न्यायाधीश प्रीति सिंह ने उसे खारिज कर दिया.
अदालत ने कहा, “ऐसे मामले में जहां घटना घर के भीतर हुई हो, प्रत्यक्ष सबूतों को नज़रअंदाज़ नहीं किया जा सकता है.”
इसके बाद तलवार ने इलाहाबाद हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में अपील की लेकिन उन्हें राहत नहीं मिल सकी.
इसके बाद इस सनसनीखेज हत्याकांड की सुनवाई एक बार फिर 11 जून 2012 को शुरू हुई.
सीबीआई ने दलील में कहा कि जिस रात ये हत्या हुई उस दिन इस बात के कोई भी सबूत नहीं हैं कि बाहर से कोई आया और साक्ष्य ये भी बताते हैं कि घर में चार लोग मौजूद थे- आरुषि, हेमराज, राजेश और नूपुर.
सीबीआई ने कहा कि परिस्थितिजन्य साक्ष्य इशारा करते हैं कि इन हत्याओं में राजेश और नूपूर शामिल थे.
सैनी ने अदालत से कहा कि तलवार ने अदालत की कार्रवाई को गुमराह करने की कोशिश की.
सर्दियों में लगाएं ये फेस पैक और चेहरा बनाएं नम : NICC BEAUTY TIPS

उदयपुर । चेहरे को सुंदर बनाने में फेस पैक का काफी योगदान होता है खासतौर पर घर पर बनाए गए फेस पैक का। अब तो सर्दियों का मौसम आ चुका है तो ऐसे में त्वचा बहुत रूखी हो जाती है। आप चाहे जितनी क्रीम और लोशन लगाएं पर त्वचा रूखी की रूखी रहती है। सर्दियों में तेज हवा के झोंको से चेहरे के अंदर की नमी पूरी तरह से गायब हो जाती है। इसलिये ऐसे में जरुरी है कि आप चेहरे पर प्राकृतिक फेस पैक लगाएं और चेहरे के अंदर नमी भरें। नमी प्रदान करने के लिये दही, एवाकोडो, ग्लीसरीन, पपीता, बेसन और दही जैसे अनेको सामग्रियों का प्रयोग कर सकती हैं। चलिये NICC की डायरेक्टर स्वीटी छाबड़ा से जानते हैं सर्दियों में चेहरे को कौन से फेस पैक से नमी प्रदान कर सकते हैं। यहां पर हर चेहरे की प्रकृति के हिसाब से फेस पैक दिये जा रहे हैं। सर्दियों में नींबू का प्रयोग ना करें क्योंकि इससे चेहरा ड्राई हो जाता है।
शहद और दूध पैक: बनाने के लिये इन दोनों चीजों को मिलाइये और केवल 5 मिनट के लिये चेहरे पर रखिये। सूखने के बाद चेहरे को ठंडे पानी से धो लीजिये।
एवाकाडो फेस पैक: एवाकोडो को पीस कर उसमें ऑलिव ऑइल मिलाइये। इस फेस पैक को गीले चेहरे परलगाइये। 10 मिनट के बाद चेहरे को धो लें।
अंडे का सफेद भाग अपने चेहरे को अंडे के सफेद भाग से मसाज करें। फिर 25 मिनट तक ऐसे ही छोड़ दें और बाद में ठंडे पानी से चेहरा धो लें। इससे चेहरा कोमल और टाइट हो जाएगा।
केला पैक: केला चेहरे को टाइट और उसमें पोषण भरता है। सर्दियों में केले को मैश कर के उसमें शहद और दही मिलाइये
ओटमील फेस पैक: ओटमील फेस पैक स्क्रब का काम भी करता है। इसे शहद और दही के साथ मिक्स करें और उसमें कुछ बूंद ग्लीसरीन मिलाएं। फिर इसे 10 मिनट तक के लिये चेहरे पर लगाएं और फिर धो लें।
पपीता: पपीता चेहरे को नमी प्रदान करता है। इसे मसल कर उसमें दूध मिलाइये। इस पैक को 10 मिनट के लिये चेहरे पर लगाइये और सूखने के बाद धो लीजिये।
ग्लीसरीन: चेहरे को नमी देने के लिये ग्लीसरीन को रोज वॉटर मिला कर लगाएं। ऐसा करने से चेहरा बिल्कुल टोन हो जाएगा और नमी भी बरकरार रहेगी।
संतरा और शहद संतरे के छिलके को सुखा कर पीस लें और उसमें दूध और शहद मिला कर पेस्ट बनाएं।
बादाम तेल: और मिल्क पाउडर रूखी त्वचा से बचने के लिये बादाम तेल और मिल्क पाउडर मिला कर लगाएं। इसे लगाने से चेहरे पर ग्लो आता है और चेहरे पर नमी भीआती है।
बेसन और दही: इस पैक को बनाते वक्त इस बात का ध्यान रखें कि इसमें नींबू ना मिलाएं नहीं तो चेहरा रूखा हो जाएगा।
लुगाइयों की आड़ में संपत्ति छिपाई
उदयपुर। राजस्थान विधानसभा का चुनाव लड़ रहे उदयपुर संभाग के १४ प्रत्याशियों ने चुनाव आयोग के समक्ष आय के झूठे आंकड़े पेश किए हैं। इन लोगों ने अपनी आय छिपाने के लिए पत्नियों के नाम से अकाउंट खोलकर आय से अधिक प्राप्त संपत्ति को समायोजित करके अपने भ्रष्टाचार को छिपाया है। आयकर कानूनों को धोखा देने के इस काम में बड़े-बड़े चार्टर्ड अकाउंटेन्ट्स की भी महत्वपूर्ण भूमिका है।
अपनी पत्नियों की आड़ लेकर भ्रष्टाचार की काली कमाई छिपाने और कानून को धोखा देने वालों में कुंभलगढ़ से गणेशसिंह, भीम से कैलाशचन्द्र पोखरना, उदयपुर ग्रामीण से फूलसिंह मीणा, खेरवाड़ा से दयाराम परमार, वल्लभनगर से भीमसिंह और गणपतलाल मेनारिया, बांसवाड़ा से धनसिंह रावत, चौरासी से सुशील कटारा, डूंगरपुर से देवेन्द्र कटारा व वेलाराम, चित्तौडग़ढ़ से सुरेन्द्रसिंह और निम्बाहेड़ा से श्रीचंद कृपलानी शामिल है।
बताया गया है उक्त सभी उम्मीदवारों की पत्नियां सामान्य गृहणियां है। वास्तव में ये महिलाएं कोई व्यापार-व्यवसाय नहीं करती। हालांकि कागजों में ये बहुत कुछ करती है। चुनाव आयोग यदि, शपथ पत्रों की छानबीन करवाए और अन्य एजेंसियों से वास्तविकता का पता लगाए तो इन नेताओं की ये पत्नियां अपने पतिदेव के साथ जेल की हवा खा सकती है।
सामान्य पर्यवेक्षक बीना यादव ने किया दो विधानसभा क्षेत्रों का अवलोकन
उदयपुर, उदयपुर जिले के लिए नियुक्त सामान्य पर्यवेक्षक बीना यादव ने शनिवार को जिले की झा$डोल एवं गोगुन्दा विधानसभा क्षेत्र का भ्रमण किया।
भ्रमण के दौरान उन्होंने झा$डोल विधानसभा क्षेत्र के उपखण्$ड मुख्यालय सहित क्षेत्र में आने वाले मतदान केन्द्रों का अवलोकन किया। झाडोल के रिटर्निंग अधिकारी श्रीमती कीर्ति राठौ$ड ने विधानसभा आमचुनाव की तैयारी सहित मतदान प्रतिशत ब$ढाने एवं लोगो को मतदान के प्रति जागरूक करने को लेकर आयोजित किये जा रहे मतदाता जागरूकता अभियान कार्यक्रम की जानकारी दी। इसके पश्चात केन्द्रीय पर्यवेक्षक ने गोगुन्दा तहसील में बैठक कर संबंधित अधिकारियों से विस्तृत जानकारी ली।
जागरूकता पर्यवेक्षक ने किया एमसीएमसी प्रकोष्ठ का अवलोकन
सामान्य जागरूकता पर्यवेक्षक श्रीमती बीना यादव ने शनिवार को उदयपुर सूचना केन्द्र में संचालित मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति के तहत स्थापित जिला स्तरीय प्रकोष्ठ की गतिविधियों का अवलोकन कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिये।
श्रीमती यादव ने वहॉ स्थापित मीडिया प्रकोष्ठ की सेवाओं, विधानसभा चुनाव के तहत निर्वाचन विभाग के दायित्वों, रिकॉर्डिंग सिस्टम, विज्ञापन प्रमाणीकरण व्यवस्था आदि का विस्तार से अवलोकन किया। उन्होंने प्रत्येक शाखा में कार्यरत स्टॉफ से कार्य प्रणाली की जानकारी ली और संतोष व्यक्त किया।
यहॉ एमसीएमसी सदस्य सचिव सुधीर दवे, एपीआरओ टी.आर.कण्डारा, पवन शर्मा एवं श्रीमती ऋतु सो$ढी ने प्रकोष्ठ बाबत व्यवस्थाओं के बारे में पर्यवेक्षकों को जानकारी दी। श्रीमती यादव ने जिले में मतदाता जागरूकता अभियान के बारे में भी प्रभारी सुधीर दवे ने फीडबेक लिया। उन्होंने मतदाता जागरूकता चल वाहन का भी अवलोकन किया और अधिकाधिक मतदाताओं तक जागरूकता कार्यक्रम का संदेश पहुंचाने की बात कही।
जोथनखुमा ने भी किया मीडिया प्रकोष्ठ का अवलोकन :- सलुम्बर विधानसभा क्षेत्र के लिए नियुक्त सामान्य पर्यवेक्षक जोथनखुमा ने शनिवार को सूचना केन्द्र में स्थापित मीडिया प्रकोष्ठ का अवलोकन किया। उन्होंने आदर्श आचार संहिता की पालना संबंधी निर्देशों की क$डाई से पालना एवं निष्पक्ष व शांतिपूर्ण चुनाव में सभी के सहयोग की अपील की।
अंतर महाविद्यालयी एथेलेटिक्स प्रतियोगिता सम्पन्न।
उदयपुर । विश्वविद्यालय वाणिज्य महाविद्यालय की मेजबानी में 21 नवम्बर से आयोज्य अंतर महाविद्यालयी एथेलेटिक्स (पुरुश/महिला) प्रतियोगिता आज एम बी ग्राउण्ड पर सम्पन्न हुई।
तीसरे दिन आयोजित स्पर्धाताओं में परिणाम निम्न प्रकार रहे।
4 100 मीटर रिले में वाण्ज्यि महाविद्यालय प्रथम एवं बी एन पी जी कोलेज द्वितीय वही महिला वर्ग में बी एन गर्ल्स कोलेज प्रथम एवं जे आर षर्मा कोलेज फलासिया द्वितीय रह।
टीम चैम्पियनषिप में पुरुश वर्ग में बी एन पी जी कोलेज विजेता रहा एव ंबी एन सी पी ई द्वितीय एवं राजकीय महाविद्यालय चित्तोड तृतीय रहा। वही महीला वर्ग में बी एन गर्ल्स कोलेज प्रथम एवं बी एन पी जी कोलेज द्वितीय जे आर षर्मा कोलेज फलासिया तृतीय रहा।
आयोजन सचिव हेमराज चौधरी ने बताया कि पुरुश्कार वितरण समारोह के मुख्य अतिथि ओलंपियन एवं अर्जुन अवार्डी गोपाल सेनी ने विजेता एवं विषिश्ट अतिथि विष्वद्यिालय क्रीड़ा मण्ड़ल के डॉ. दीपेन्द्र सिंह चौहान ने उपविजेता को मेडल व पुरुस्कार प्र्रदान किये एवं क्रार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहें प्रो. पी के सिंह ने अतिथियों को एवं निर्णायकों को प्रतिक चिन्ह प्रदान किए।