परिवार को आर्थिक बीमार कर देता है कैंसर रोग

दूसरे दिन की कार्यशाला में कम खर्च में बेहतर इलाज पर हुई चर्चा

images (1)उदयपुर, कैंसर का इलाज रोगी को ही नहीं, उसके परिवार को भी आर्थिक बीमार कर देता है। इस तरह की चर्चा के शनिवार को स्तन कैंसर पर आयोजित कार्यशाला के द्वितीय सत्र में हुई। मुंबई के टाटा मेमोरियल हॉस्पिटल की स्तन कैंसर सर्जन डॉ. वानी परमार ने अधिक उम्र में शादी व बच्चे होना, स्तनपान से परहेज करवाना और बढता धूम्रपान को कैंसर की झड बताया।

डॉ. परमार जीबीएच अमेरिकन हॉस्पिटल और एसोसिएशन ऑफ बेस्ट सर्जन ऑफ इंडिया (एबीएसआई) की ओर यहां पारस हिल रिसोर्ट में आयोजित तीन दिवसीय कार्यशाला के द्वितीय सत्र को संबोधित कर रही थी। उन्होंने बताया कि कैंसर ग्रामीण लोगों की बजाय शहरी लोगों में अधिक पाया जा रहा है। महिलाओं में काम, कैरियर को प्राथमिकता देने के कारण अधिक उम्र में विवाह करना, अपने शिशुओं को स्तनपान ना कराना और धूम्रपान व नशे को अपनाना प्रमुख कारणों में सामने आ रहा है। रोगी का कैंसर की बिगडी हुई स्थिति में पता चलने के कारण उसका झडमूल खात्मा की संभावनाएं कम हो जाती है। इस तरह का रोग तीस से पैतीस साल की उम्र के बाद सामने आती है। यदि परिवार में एक से अधिक लोगों को कैंसर की शिकायत होती है तो अन्य सदस्यों में भी जैनेरेटिक संभावनाएं बढ जाती है। इसका पहले से पता लगाकर इलाज लेना ही उचित होता है। बेस्ट कैंसर सर्जन डॉ. गरिमा मेहता ने बताया कि यह रोग रोगी के साथ उसके परिवार को भी आर्थिक बीमार कर देता है। इसके लिए हमारा दायित्व है कि रोगी व उसके परिवार को सहानुभूति के साथ सस्ता इलाज मुहैया कराया जाए। आवश्यकता, डॉक्टर्स, दवा कंपनियों के अलावा सरकार को भी इस अभियान में शामिल होने की है। इस दौरान देश विदेश से पहुंचे विशेषज्ञों ने कैंसर उन्मूलन, सस्ते इलाज पर चर्चा की। कार्यशाला का तीसरा तथा चौथा सत्र उम्र के साथ बढते कैंसर के खतरे पर रहा।

हर गांठ कैंसर नहीं, हर दर्द आम नहीं: डॉ. मेहता ने बताया कि आम धारणा बन चुकी है कि स्तन में गांठ होने पर उसे कैंसर मान लिया जाता है। यह भ्रांति मात्र भी हो सकती है। इसके अलावा किसी गांठ को दूध की गांठ मानना भी नासमझी हो सकती है। इसके लिए बेहतर है कि डॉक्टर से बेहिचक मशविरा ले लिया जाए। शुरुआती स्तर पर ही पता चलने पर स्तन निकालने की स्थिति नहीं बनती है।

जांचों के दुष्परिणाम भी जाने: द्वितीय सत्र में डॉक्टरों के बीच इलाज से पूर्व होने वाली जांचों को लेकर चर्चा हुई। इस दौरान सामने आया कि रोगी के रोग के मुताबिक ही जांच कराई जाए। पेट स्केन, एक्स-रे, सिटी स्केन, सोनोग्राफी सहित अन्य जांचों के दुष्परिणाम को भी डॉक्टरों को ध्यान में रखकर ही मशविरा देना चाहिए। इससे रोगी को ज्यादा जांचों के दौर से निजात मिलेगी, साथ ही जांचों पर होने वाले खर्च से भी राहत मिलेगी।

कैंसर हॉस्पिटल देगा राहत: संभाग सहित मध्यप्रदेश के जिलों में फैल रहे कैंसर व यहां इसकी विशेषता वाले हॉस्पिटल की कमी जीबीएच अमेरिकन का कैंसर हॉस्पिटल पूरा करेगा। यह बात हॉस्पीटल के निदेशक डॉ. कीर्ति जैन ने कहीं। उन्होंने कहा कि आदिवासी बाहुल इस क्षेत्र में कैंसर के इलाज की सुविधा नहीं होने से रोगियों को अन्य राज्यों में जाकर इलाज कराना मजबूरी बना हुआ है। इसके अलावा एक छत के नीचे कैंसर से संबंधित सभी तरह के इलाज मुहैया नहीं होने से रोगी को भटकना पडता है। जीबीएच अमेरिकन हॉस्पीटल आगामी दिनों में कैंसर उन्मूलन के लिए समर्पित चैरिटेबल कैंसर हॉस्पीटल ला रहा है जहां यह रोगियों का बेहतर इलाज बेहद कम दरों पर उपलब्ध होगा। इस हॉस्पीटल में कैंसर रोग के उन्मूलन में मील का पत्थर साबित होगा।

इन्होंने रखे विचार: दूसरे दिन की कार्यशाला को एवीएसआई के अध्यक्ष डॉ. देवेंद्र पटेल, निर्वाचित अध्यक्ष नई दिल्ली के डॉ. चिंतामणी, डॉ. विनित गुप्ता, डॉ. एस.वी.एस. देव, चैन्नई के डॉ. शैलवी राधाकृष्णन, लखनऊ के डॉ. गौरव अग्रवाल, मुंबई की संगीता देसाई, दिल्ली के डॉ. डी.एन. शर्मा तथा जयपुर के अंजूम जोधा ने विचार रखें और लाइव डेमोस्टे्रशन दिया।

बदमाश घर में घुसकर विवाहिता का अपहरण कर ले गए

kidnappingउदयपुर, नकाब पोश बदमाश घर में घुसकर विवाहिता का अपहरण कर ले गये।

पुलिस सूत्रों के अनुसार जिले के पानरवा थानान्तर्गत डईया गांव निवासी रेखा पत्नी मनोज का शुक्रवार रात आये तीन नकाबपोश बदमाश अपहरण कर ले गये। रात में मनोज खेत पर फसल की पिलाई करने गया था। लौटा तो बच्चो ने घटना की जानकारी दी। पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर जांच शुरू की।

पत्नी के अपहरण का मामला दर्ज : खेरवाडा थानान्तर्गत बवेलवडी गांव निवासी दिलीप पुत्र कमला मीणा ने परिवार जरिए अपने ससुर बटना फला सरोरा निवासी भीमा पुत्र जीवा, सास मीरकी काना पुत्र सोमा, जीजा पत्नी काना, घोडी निवासी देवेन्द्र सिंह ठाकुर के खिलाफ प्रकरण पुलिस में दर्ज करवाया कि 25 जून 12 को मे बाजार गया था। इस दौरान घर आये आरोपी पत्नी मंजू का अपहरण कर ले गये। तथा शामलाजी गुजरात के अन्य व्यक्ति के साथ उसका विवाह करवा दिया।

 

’रामलीला’ की शूटिंग के लिए दीपिका पहुंची उदयपुर

एयरपोर्ट पर इशांत शर्मा भी दिखे

04उदयपुर। संजय लीला भंसाली द्वारा निर्देशित फील्म ’रामलीला’ की शूटिंग के लिए शनिवार को फील्म अभिनेत्री दीपिका पादुकोण उदयपुर आई। दीपिका एयरपोर्ट से सीधे होटल उदयविलास पहुंची।
फील्म अभिनेत्री दीपिका पादुकोण शनिवार शाम जेट एयरवेज की 5.10 की मुंबई-उदयपुर पफ
लाइट से लेकसिटी पहुंची। ब्लू जिंस व सफेद लोंग टॉप पहने जैसे ही दीपिका एयरपोर्ट से बाहर निकली तो उनके प्रशंसकों ने उन्हे घेर लिया। दीपिका ने हाथ हिलाकर दर्शकों का अभिवादन किया। इसके पश्चात वे कार में बैठकर होटल के लिए रवाना हो गई।
इससे पूर्व 11 महीने पहले भी दीपिका उदयपुर आ चुकी है। उस समय वे धर्मा प्रोडक्शन के निर्देशन में बन रही फी ल्म ’ये जवानी है दीवानी’ की शूटिंग के सिलसिले में करीब तीन दिन तक उदयपुर रही थी।
ज्ञातव्य है कि ’रामलीला’ फील्म के लिए पिछले पांच दिनों से उदयपुर में फील्म अभिनेता रणवीर सिंह शहर के गणघौर घाट स्थित एक मंदिर पर शूटिंग कर रहे है। कल से दीपिका की शूटिंग का हिस्सा बनेगी एवं उन पर फील्म के दृश्य फील्माएं जाएंगे।
एयरपोर्ट पर देखे गए इशांत शर्मा:
भारतीय टीम के तेज गेंदबाज इशांत शर्मा भी लेकसिटी में ही थे। इसकी मीडिया को इसकी भनक भी नहीं थी। आज दीपिका पादुकोण के उदयपुर आने की खबर को लेकर जब मीडियाकर्मी एयरपोर्ट पहुंचे तो इशांत शर्मा वहां अपनी एक निजी मित्र के साथ देखे गए। सूत्रों के अनुसार वे यहां ताज लेक पैलेस में रूके हुए थे एवं आज दोपहर रवाना हुए।

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कटारिया को प्रतिपक्ष नेता एवं वसुंधरा को प्रदेशाध्यक्ष बनाया

उदयपुर , भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह के द्वारा पूर्व मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे को प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व गृहमंत्री गुलाबचन्द कटारिया को नेता प्रतिपक्ष मनोनित किये जाने पर भारतीय जनता पार्टी शहर एवं देहात जिला उदयपुर के समस्त पदाधिकारी एवं कार्यकर्ताओं ने बधाई प्रेषित की है।

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इस अवसर पर भाजपा प्रदेश मंत्री प्रमोद सामर ने राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह के फैसले पर खुशी जाहिर करते हुए विश्वास जताया कि भाजपा द्वारा पूर्व गृहमंत्री गुलाबचन्द कटारिया एवं पूर्व मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे को जो जिम्मेदारी दी है उनको सांमजस्य के साथ निभाते हुए एक परिवार की भांति कार्य करेंगे एवं आगामी चुनाव में कांग्रेस के कुशासन को उखाड़ फैंकने और आमजन की भाजपा सरकार अवश्य बनाऐंगे।

पूर्व विधानसभा अध्यक्ष शान्तिलाल चपलोत, शहर जिलाध्यक्ष दिनेश भट्ट, देहात जिलाध्यक्ष सुन्दरलाल भाणावत, सभापति रजनी डांगी, भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य मांगीलाल जोशी, किरण जैन, युवा मोर्चा शहर जिलाध्यक्ष जिनेन्द्र शास्त्री, देहात जिलाध्यक्ष महेन्द्र औदिच्य आदि ने भी गुलाबचन्द कटारिया एवं वसुन्धरा राजे सिंधिया को बधाई प्रेषित की।

कटारिया कल उदयपुर में – भव्य स्वागत होगा

मीडिया प्रभारी चंचल कुमार अग्रवाल ने बताया कि नव मनोनित नेता प्रतिपक्ष गुलाबचन्द कटारिया अपने मनोनयन पश्चात् अपने गृहनगर प्रथम आगमन पर उत्साहित कार्यकर्ताओं एवं पदाधिकारियों द्वारा दिनांक 3 फरवरी को प्रातः 7 बजे सिटी रेल्वे स्टेशन पर भव्य स्वागत किया जाएगा। सिटी स्टेशन से कटारिया को जुलूस के रूप में पार्टी कार्यालय ले जाया जाएगा, जहां पर कार्यकर्ताओं को सम्बोधित करेंगे।

स्व.सुखाडिया की पुन्य तिथि पर श्रद्धांजलि

उदयपुर, स्व. श्री मोहनलाल जी सुखाडिया की 31वीं पूण्य तिथि के मौके पर दुर्गानर्सरी स्थित समाधि स्थल पर श्रद्धांजलि का कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें उपस्थित सासंद, पूर्वविधानसभा अध्यक्ष, कांग्रेसजनों, समाज सेवियों एवं गणमान्य नागरिकों ने अपनी अपनी ओर से श्रद्धासुमन अर्पित कर श्रद्धांजल दी एवं उन्हें याद किया ।

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दुर्गानर्सरी रोड स्थित उनके समाधि स्थल पर उनके पुत्र दिलीप सुखाड़िया व अरूण सुखाड़िया, पुत्रवधु सुधा एवं नीलिमा सुखाड़िया पौत्र दीपक सुखाड़िया व श्रीमती मनीषा ने दीप प्रज्वलित किया।

श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए उदयपुर सांसद रघुवीरसिंह मीणा ने कहां कि ’’आज हम विकसित राजस्थान की जो तस्वीर देख रहे है वह सुखाडिया सा. की देन है, उन्हें आधुनिक राजस्थान के निर्माता के रूप में हमेशा याद किया जायेगा’’ । पूर्व विधानसभा अध्यक्ष शांतिलाल चपलोत ने श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए कहां कि ’’सुखाडिया सा. विशाल हृदय वाले नेता थे, उनसे हमने बहुत कुछ सीखा, वह राजनीतिक विचारधारा से हटकर सिर्फ विकास की बात करते थे’’ । श्रद्धा सुमन अर्पित करने वालों में सांसद रघुवीर सिंह मीणा, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष शांतिलाल चपलोत, कांग्रेस मीडिया सेन्टर अध्यक्ष पंकज कुमार शर्मा, शहर जिलाध्यक्ष निलिमा सुखाडिया, देहात जिलाध्यक्ष लालसिंह झाला, प्रदेश कांग्रेस सचिव गोपाल शर्मा, यु.आई.टी. अध्यक्ष रूपकुमार खुराना, जिला प्रमुख मधु मेहता, सहित कई कांग्रेसजन एवं गणमान्य नागरिक उपस्थि थे ।

 

शादियों की धूम में सामूहिक शादी

उदयपुर , शहर में शुक्रवार को शादियों की धूम रही हर बाज़ार मोहल्ले में बेंड बाजों की आवाज़ से गूंजते रहे सावों के इस मुहर्त के चलते तैलिक साहू समाज और गुजरती मोची समाज के सामूहिक विवाह संम्पन्न हुए ।

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शहर में कुछ दिनों से चल रहे शादी समारोह शुक्रवार को पुरे रंग में दिखाई दिए हर गली मोहल्लों बाज़ारों में बेंड बाजों की आवाज़ सजे धजी महिलाये हर मेरिज गार्डन में धूम धड़का नज़र आया ।

तैलिक साहू समाज के 48 जोड़े विवाह सूत्र में बंधे साहू समाज का सामूहिक विवाह टाउन हाल में संपन्न हुआ साहू समाज के 48 दुल्हों की शोभायात्रा देहली गेट बापू बाजार होते हुए टाउन हाल पहुची और दुल्हों ने तोरण की रस्म पूरी कर पंडाल में प्रवेश किया दुल्हनों ने फेरों के पहले कन्या भ्रूण हत्या पर रोक की प्रतिज्ञा ली । साहू समाज के सामूहिक विवाह से दिन भर बापू बाजार टाउन हाल में चहल पहल रही ।तैलिक समाज द्वारा विधवा व कमजोर आय वर्ग के पांच वर-वधुओं का विवाह निशुल्क। कराया। स्ने्ह भोज का आयोजन हुमड़ भवन में हुआ

आवरी माता मंदिर में भी गुजराती मोची समाज का सामूहिक विवाह हुआ जिसमे ३२ जोड़े परिणय सूत्र में बंधे तथा नवदंपत्तियों ने कन्या भ्रूण हत्या नहीं करने और कन्या शिक्षा को बढ़ावा देने की कसम खाने के साथ आठवां फेरा भी लिया। इस सामूहिक विवाह सम्मलेन में गुजरात, मालवा और मेवाड़ के युगल परिणय सूत्र में बंधे । सम्मलेन में बुजुर्गों और विद्यार्थियों का सम्मान भी किया गया तथा तुलसी विवाह ही कराया गया

बीच सडक पर घंटों निर्वस्त्र पडी रही महिला

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बांसवाडा, बीच सडक पर यदि घंटों तक महिला निर्वस्त्र पडी रहे और उससे दस कदम की दूरी पर पुलिस नियंत्रण कक्ष और ठीक सामने किसी राजनैतिक दल का कार्यालय हो उस पर भी यदि किसी का हृदय नहीं पसीजे तो यहीं लगता कि व्यवस्थाओं के साथ मानवीय संवेदनाएं निर्वस्त्र हो चुकी है। शुक्रवार को शहर के हृदय स्थल माने जाने वाले कुशलबाग मैदान के सामने ही ऐसा ही शर्मनाक वाकया देखने को मिला। लगभग दो घंटे तक विक्षिप्त समझी जाने वाली महिला इसी हाल में पडी रही जब वहां से अधिवक्ता शिवप्रसाद जोशी निकले तो उन्होंने सामाजिक कार्यकर्ता मनोजसिंह राठौड को इसकी जानकारी दी। जिस पर राठौड ने महिला को वस्त्र ओढाए, इसी दौरान वहां सामाजिक कार्यकर्ता अनुराग जैन पहुंचे तो उन्होंने भी वस्त्र मंगवाए। जब औरत को हाथ लगाकर उठाया गया तब पता चला कि वह बीमार है, तो उसे अस्पताल पहुंचाने के लिए ऑटो रूकवाने की कोशिशें की गई लेकिन कोई तैयार नहीं हुआ। बाद में जैसे-तैसे एक ऑटो चालक को तैयारकर इस महिला को महात्मा गांधी चिकित्सालय में भर्ती करवाया गया। बांसवाडा में ऐसी घटनाएं आम हो चुकी है। पिछली बार जिला कलक्टर कुंज बिहारी गुप्ता की पहल पर एक महिला को उदयपुर पहुंचवाया गया लेकिन दुर्भाग्य से वहां भी उसे भर्ती नहीं किया गया, जिस पर गुप्ता ने एक स्वयं सेवी संस्था से सम्पर्क कर वहां भर्ती करवाया। शुक्रवार को भी जब जिला कलक्टर को इसकी जानकारी दी गई तब दस मिनट में ढूंढते व्यवस्थाएं चिकित्सालय तक पहुंची। इस क्रम में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के सहायक निदेशक प्रफूल्ल चौबीसा ने बताया कि माह भर पूर्व बैठक हुई थी जिसमें स्वयं सेवी संस्था को सर्वे का आग्रह किया गया लेकिन संस्था ने कोई रिपोर्ट नहीं दी है। उन्होंने बताया कि इस कार्य के लिए नियमनुसार पुलिस का दायित्व है कि पुलिस को ऐसे लोगों को चिह्नित कर एसडीओ को रिपोर्ट देनी होती है लेकिन ऐसा क्यों नहीं हो पा रहा है, यह समझ से परे है। इधर स्वयंसेवी संस्था के मनोज सिंह राठौड ने बताया कि बैठक के बाद उन्हें फ ॉर्म दिया गया लेकिन फॉर्म में इतनी ज्यादा पेचिदगिया है कि उसे कोई भी आसानी से पूर्ण नहीं कर सकता। शहर के अंदर नगर परिषद और अन्य विभागों के कई भवन धूल खा रहे है लेकिन व्यवस्थाओं का मक्कडजाल इसी तरह निर्वस्त्र होनी की विवशताएं जता रहा है।

आधार का उपयोग ’अधर’ में

कोटडा और ऋषभदेव तहसीले फिसड्डी

गिर्वा में भी अब तक २४ प्रतिशत पहुंचा आंकडा

aadhar-cardउदयपुर, आधार कार्ड बनने की प्रक्रिया में शीथिलता को देखते हुए इस कार्ड की उपयोगिता की शीघ्र क्रियान्विति पर प्रश्न चिन्ह लग गया है।

सरकार द्वारा आधार कार्ड को ही सब कुछ मान लेने की घोषणा से आमजन चिंतित है। चिंता इसलिए कि जिस गति से कार्ड बनने का कार्य चल रहा है उसे देखते हुए आगामी छह माह तक इस कार्य की समाप्ति संभव नहीं है। दूसरी ओर सरकार द्वारा सभी कल्याणकारी योजनाओं के साथ रसोई गैस जैसी आवश्यक वस्तु को भी इस दायरे में लेने से आमजन के चेहरे पर चिंता की लकीरे खिंची हुई है।

यदि हम उदयपुर जिले की दस तहसील क्षेत्रों की जानकारी ले तो चौंकाने वाले आंकडे दर्शाते है कि आधार का उपयोग भी दूरी की कौडी है। एक फरवरी 2013 तक पंजीकृत आधार कार्ड दाताओं की संख्या यह दर्शाता है कि यह कार्य आगामी छह माहों तक और जारी रहेगा।

उदयपुर जिले की गिर्वा तहसील की जनसंख्या सात लाख 40 हजार 963 है इसकी तुलना में अब तक एक लाख 84 हजार 1171 नागरिकों का ही आधार के लिए पंजीयन हुआ है। इस प्रकार यहां अभी तक 24 प्रतिशत लोग ही आधार कार्ड का पंजियन करवा पाए है।

वल्लभनगर तहसील में यह आंकडा 39 प्रतिशत पहुंचा जहां दो लाख 30 हजार 818 की आबादी के मुकाबले नब्बे हजार 712 नागरिक ही अपना पंजीयन करवा पाए है। गोगुन्दा में यह प्रतिशत 34 है जहां एक लाख 51 हजार 575 जनसंख्या की तुलना में 52 हजार 476 पंजीयन हुए है।

इसी प्रकार खेरवाडा में 34 प्रतिशत आधार का पंजियन हुआ है। इस तहसील क्षेत्र की 2 लाख 68 हजार 976 जनसंख्या के मुकाबले केवल 92 हजार 849 ग्रामीण ही इस कार्ड तक पहुंच पाए है। मावली तहसील में 33 प्रतिशत पंजियन हुआ है यहां की कुल आबादी 2 लाख 13 हजार 796 है जबकि आधार पंजीयन केवल 72 हजार 443 लोग ही करवा पाए है। सराडा तहसील में 29 प्रतिशत कार्य हुआ है यहां कुल 2 लाख 23 हजार 380 जनसंख्या की तुलना में 65 हजार 365 नागरिक आधार मशीनों तक पहुंचे है।

सलूम्बर तहसील में 2 लाख 12 हजार 492 आबादी के मुकाबले 58 हजार 901 लोग ही आधार को छू पाए है और यहां आंकडा अभी 27 प्रतिशत है। झाडोल तहसील में 14 प्रतिशत कार्ड बने है। यहां की आबादी एक लाख 93 हजार 810 के मुकाबलजे 27 हजार 14 लोग ही आधार का पंजीयन करवा पाए है। विकास से अछूता रही कोटडा तहसील के हालात और भी गंभीर है यहां अब तक केवल 6 प्रतिशत ही पंजियन हुआ है। यहां की कुल आबादी एक लाख 83 हजार 504 के मुकाबले 11 हजार 147 लोग ही पंजियन करवा पाए है।

सबसे कम जहां इस कार्य में शीथिलता दिखी वह है ऋषभदेव तहसील यहां अब तक मात्र 4 प्रतिशत कार्य ही सम्पादित हुआ है। यहां की आबादी 2 लाख 63 हजार 312 के मुकाबले अभी तक मात्र 10 हजार 532 लोग ही आधार कार्ड बनवा पाए है।

उपरोक्त आंकडों को देखते हुए यह दावा है कि आधार कार्ड का सामान्य उपयोग होने में अभी एक अर्सा लगेगा। सरकार को इसे यदि अनिवार्य बनाना है तो इस कार्य को गति देनी होगी तभी सार्थक अंजाम तक पहुंचा जा सकेगा।

 

स्तनपान से परहेज महिलाओं में कैंसर का सबसे बडा कारण

तीन दिवसीय कार्यशाला शुरू

नई तकनीक, कौशल सहित कई मुद्दों पर होगी विस्तृत चर्चा

u1febph-5उदयपुर, लाइफ स्टाइल में आए बदलाव के कारण इस साल करीब एक लाख लोग कैंसर से ग्रसित होते है इनमें करीब 59 फीसदी लोग इस बीमारी के साथ दम तोड देते है। कारण होता है जागरूकता की कमी तथा इलाज के समूचित साधनों को अभाव। ऐसे में जरूरी कैंसर जैसी बीमारी के उन्मूलन के लिए जरूरी है कि सस्ती तथा सुलभ चिकित्सा हर व्यक्ति तक पहुंचे। यह विचार जीबीएच अमेरिकन हॉस्पीटल के बेनर तले शुक्रवार से शुरू हुई ब्रेस्ट कैंसर विषयक कार्यशाला के पहले दिन सामने आए। तीन दिवसीय इस कार्यशाला के पहले दिन जीबीएच अमेरिकन हॉस्पीटल में प्री-कॉन्प्रें*स आयोजित की गई। कैंसर हॉस्पीटल के सीईओ आनंद झा ने बताया कि कार्यशाला की शुरूआत में वरिष्ठ ब्रेस्ट कैंसर रोग विशेषज्ञ डॉ गरीमा मेहता ने अपने स्वागत में बताया कि कैंसर के अगर शुरूआती लक्षणों को पहचान कर उपचार शुरू कर दिया जाए तो यह करीब करीब पूरी तरह से मिटाया जा सकता है। कार्यशाला के पहले दिन टेक्नीकल सेशन में सोनोग्राफि द्वारा लक्षणों की पहचान तथा कीमोपोर्ट के दर्द रहित उपचार बनाने की दिशा में व्याख्यान दिया।

कार्यशाला की आयोजन सचिव डॉ. गरीमा मेहता ने बताया कि कैंसर के परीक्षण तथा उसके इलाज में कई कडिया शामिल है। एक व्यक्ति सोनोग्राफी करता है एक बायोप्सी करता है तथा तीसरा व्यक्ति उसका इलाज करता है। ऐसे में परिणामों को प्रभावित होने की पूरी संभावनाएं रहती है। अगर ही डॉक्टर यह सभी काम करें तो इस दिशा में विशेष कदम उठाए जा सकेगें। इस विषय पर चैन्नई ब्रेस्ट सेंटर से आई डॉ. साल्वे राधा कृष्णन ने अपने व्याख्यान दिया। साथ डॉ.कृष्णन ने इस पूरी प्रक्रिया का लाइव प्रदर्शन किया।

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कार्यशाला में संजयगांधी पी.जी. इंस्टिट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज, लखनऊ के प्रोफेसर डॉ. गौरव अग्रवाल ने कैंसर निवारण कीमोपोर्ट के इंप्लांट के संबंध में जानकारी दी। इसके इंप्लांट का लाइव डेमोस्टेशन दिया।

डॉ. कृष्णन ने बताया कि कैंसर लाइफ स्टाइ से जुडी बीमारी बनाता जा रहा है। खान-पान तथा रहन-सहन में आए परिवर्तन तथा फास्ट फुड कल्चर कैंसर का एक बडा कारण है। साथ ही महिलाओं में स्तनपान न कराने कैंसर का सबसे बडा कारण है। महिला में होने वाला कैंसर का पचास प्रतिशत अंश ब्रेस्ट कैंसर तथा सरवाइकल कैंसर से पीडित हैै। जबकि पुरूषों में होने वाला स्तन कैंसर महिलाओं के अनुपात में सौ गुणा कम है। यानी कि हर सौ महिलाओं में एक पुरूष स्तन कैंसर का शिकार होता है।

कार्यशाला में एस.जी.पी.जी. आई.,लखनऊ के प्रोफेसर डॉ. गौरव अग्रवाल ने बताया कि कैंसर इलाज की तकनीक को छोटा सुगम तथा दर्द रहीत बनाने के दिशा में सफलता मिली है। इस तकनीक के जरीए अब हर बार अलग-अलग धमनियों से होने वाली चिकित्सा से निजात मिली है। अब एक कीमोपोर्ट के इप्लांट कैंसर के चिकित्सा संबंधी सभी प्रक्रियाएं शुरू की जा सकती है। इससे दर्द भी कम होता है तथा परिणाम भी अच्छे आते है।

साथ ही इस दिशा में हुए सकारात्मक परिवर्तन जरिए अब ब्रेस्ट कैंसर के इलाज में पूरे स्तन को निकालने के बजाए केवल कैंसर संक्रमण उत्तकों को ही निकाल कर पूरे स्तन को बचाया जा सकता है।

यह कार्यशाला मेवाड के लिए इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्यों गरीब आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र में कैंसर जैसी भयावह बीमारी के निदान हेतु प्राथमिक उपचार की सुविधा भी उपलब्ध नहीं है। ऐसे में कैंसर को लेकर यहां ना तो कोई विशेष जागरूकता तथा ना ही इससे निबटने के लिए समुचित प्रबंध। ऐसे इस प्रकार की कार्यशाला उदयपुर सहित मेवाड संभाग के लिए कैंसर उन्मूलन की दिशा में लाभप्रद साबित होगी।

 

आखिर हो ही गया अग्निशमन वाहनों का लोकापर्ण

उदयपुर , तैयार खड़ी अग्निशमन किसी विआईपी के लोकार्पण के इंतजार में आखिर शुक्रवार को शहर विधयक की हरी झंडी के बाद चल पड़ी ।

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अब अगर भगवन न करे कही आग लगी तो यह नहीं होगा के आखिर इस फायर ब्रिगेड गाड़ियों को केसे निकले अभी तक लोकार्पण तो हुआ नहीं । दो दिन पहले एक दुकान में आग लग गयी और सारा सामान जल कर राख हो गया पुरानी फायर की गाड़ियाँ डेड घंटे में पहुची और नयी गाड़ियाँ लोकार्पण के इंतजार में गैराज में ही खड़ी रही ।

आखिरकार शहर विधायक गुलाबचंद कटारिया ने नयी फायर ब्रिगेड वाहनों का लोकार्पण कर जनता के लिए हरी झंडी देदी ।

सभापति ने अग्निशमन वाहनों की चर्चा करते हुए बताया इन दो वाहनों के साथ ही परिषद के पास अब कुल १२ अग्निशमन वाहन हो गए है । उन्होंने बताया कि आपदा प्रबंधन एवं सहायता विभाग से बहुमंजिला इमारतों में आग बुझाने के लिए ५५० लाख रू. की लागत से एक हाईड्रोलिक लेडर प्लेटफार्म (स्नोरकल लेडर) खरीद की स्वीकृति भी प्राप्त हो चुकी है । जिसे क्रय करने की कार्यवाही की जा रही है ।

गैराज समिति अध्यक्ष मनोहर सिंह पंवार ने बताया कि इन दोनों अग्निशमन वाहनों की अनुमानित लागत क्रमशं २५ व २७ लाख रू. है । परिषद ने १३वें वित्त आयोग की स्वीकृत राशि से एक मल्टीपरपज फायर टेण्डर के लिए भी निविदाएं आमंत्रित की हैं ।

पूर्व विधान सभा अध्यक्ष शांतिलाल चपलोत ने कहा कि पट्टा वितरण कार्यक्रम को सफलता पूर्वक सम्पादित करने के लिए नगर परिषद और उसकी मुखिया बधाई की पात्र है । उन्होंने आय$ड नदी की सफाई का काम हाथ में लेने का सुझाव दिया ।

आयुक्त सत्यनारायण आचार्य ने बताया कि अब तक पट्टे बनवाने के लिए करीब १७०० आवेदन प्राप्त हुए है । मठ माद$डी में १४१ पट्टों सहित विभिन्न क्षेत्रों में नियमानुसार ७०० पट्टे दिए जा चुके हैं और सौ हाल ही तैयार किए गए है, जिन्हें शीघ्र ही वितरित किया जाएगा । समारोह का संचालन विधि समिति अध्यक्ष के.के.कुमावत ने किया ।