स्वतंत्रता सेनानी चौबे के निधन पर शोक

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वयोवृद्घ स्वाधीनता सेनानी जगन्नाथ प्रसाद चौबे का अंतिम संस्कार पूर्ण राजकीय सम्मान से सोमवार को उदयपुर के अशोकनगर स्थित मोक्ष धाम पर किया गया। उनकी पार्थिव देह को ज्येष्ठ पुत्र राजकुमार ने मुखाग्नि दी। श्री चोबे का रविवार रात को निधन हो गया था।
उनकी पार्थिव देह पर उनके निवास स्थान पर राजस्थान सरकार की ओर से अति. जिला कलक्टर (शहर) मो. यासीन पठान ने पुष्प चक्र अर्पित किए गए। इस मौके पर अति. जिला पुलिस अधीक्षक तेजराज सिंह, समाजसेवी पंकज शर्मा, रामचन्द्र शर्मा, जगदीश अग्रवाल सहित बडी संख्या में गणमान्य लोग मौजूद थे।
चौबे की राष्ट्रीय ध्वज में लिपटी पार्थिव देह की अंतिम यात्रा ११ बजे उनके धोलीबावडी स्थित निवास से आरम्भ होकर अशोक नगर मोक्ष धाम पहुंची। बीच राह आम जन ने श्रद्घासुमन अर्पित किये। मोक्ष धाम पर सशस्त्र पुलिस बल ने उनके सम्मान में गार्ड ऑफ ऑनर दिया।

राजस्थान राज्य क्रीडा परिषद् के पूर्व अध्यक्ष धर्मनारायण जोशी, पूर्व पार्षद विजय प्रकाश विप्लवी, नरेश पंवार, भाजयुमो नेता गोविन्द दीक्षित, जिला उपाध्यक्ष प्रदीप श्रीमाली ने स्वतंत्रता सेनानी पं. जगन्नाथ प्रसाद चौबे के निधन पर शोक व्यक्त किया है। इन नेताओं ने कहा है कि समाज सेवा के क्षेत्र में एक पूर्णत समर्पित व्यक्तित्व के रूप में चौबे की सेवाएं अविस्मरणीय रहेगी।

 

आखरी दिन हर कोई थिरका, उमड़ी भीड़

shilpgram14उदयपुर, शिल्पग्राम उत्सव के समापन अवसर पर मुख्य रंगमंच पर कार्यक्रम ‘‘माटी के रंग’’ की शरूआत कचरे खां मांगणियार के गायन से हुई इसके बाद हिमाचल का नाटी पेश किया गया। इस अवसर पर मणिपुर का पुंग चोलम में नर्तकों की तारतम्यता व पुंग वादन श्रेष्ठ बन सकी। मणिपुर के ही कलाकारों ने स्टिक डांस में तीन लकड़ियों को संतुलन के साथ उछाल कर दर्शकों को लुभाया।

कार्यक्रम में गुजरात का सिद्दि धमाल तथा फोक सिम्फनी झंकार प्रमुख आकर्षण रहा। लोक वाद्य मुगरवान, मसीण्डो, ताशा की थाप पर शंख ध्वनि के साथ ‘‘शोबिला हे शो बिला…’’ गीत पर अफ्रीकी मूल के सिद्दि कलाकारों ने अपनी थिरकन तथा भाव भंगिमाओं से दर्शकों को न केवल रिझाया वरन उनहे अपने साथ थिरकाया भी। समापन पर ही देश की माटी से जुड़े लोक वाद्यों की सिम्फनी ‘झंकार’ ने कला प्रेमियों के कानों में लोक संगीत के सुर ताल संगम से रूबरू करवाया। समापन अवसर पर ही पाइका, भपंग, कालबेलिया की प्रस्तुति दर्शनीय बन सकी वहीं उत्तर प्रदेश का मयूर नृत्य कार्यक्रम की मोहक प्रस्तुति रही।

इससे पूर्व दस दिवसीय उत्सव के अंतिम दिन शिल्पग्रा परिसर में लोगों का मानो सैलाब सा आ गया। दोपहर स ेले कर देर शाम तक शहरवासियों का रेला मानो शिल्पग्राम में निकल पड़ा। लोगों ने आखिरी दिन भी खूब खरीददारी की तथा मेले का आनन्द उठाया।

संस्कृति मंत्री श्रीमती चन्द्रेश कुमारी कटोच ने कहा कि कला और संस्कृति से देश में एकजुटता को बढ़ावा मिलता है। यह बात उन्होंने रविवार शाम पश्चिम क्षेत्र सांस्कृतिक केन्द्र की ओर से आयोजित राष्ट्रीय हस्त शिल्प एवं लोक कला उत्सव ‘‘शिल्पग्राम उत्सव-2012’’ के समापन अवसर पर कही। दस दिवसीय उत्सव के समापन अवसर पर शिल्पकारों ने कलात्मक वस्तुओं की दिल खोल कर बिक्री की वहीं रंगमंच पर लोक कलाकारों की धमाल से दर्शक व कला प्रेमी झूम उठे। इस अवसर पर लोक वाद्य यंत्रों की सिम्फनी में तार वाद्य, फूँक वाद्य, ताल वाद्यों ने अपने सुर ताल के संगम से दर्शकों को थिरकाया।

समापन पर ही श्री दशोरा ने उत्सव को सफल बनाने में योगदान देने वाले जिला प्रशासन, पुलिस विभाग, नगर विकास प्रन्यास, नगर परिषद्, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग, अजमेर विद्युत वितरण निगम लिमिटेड, टेट बैंक ऑफ बीकानेर एण्ड जयपुर, बैंक ऑफ महाराष्ट्र, एक्सिस बैंक, आई.डी.बी.आई. बैंक इत्यादि के प्रति आभार प्रदर्शित किया। इस अवसर पर शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती निलीमा सुखाड़िया भी मौजूद थी।

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बलात्कार पीड़िता का अंतिम संस्कार

दिल्ली की बलात्कार की शिकार युवती का शव सिंगापुर से रविवार सुबह विशेष विमान से दिल्ली लाया गया.
दिल्ली की बलात्कार की शिकार युवती का शव सिंगापुर से रविवार सुबह विशेष विमान से दिल्ली लाया गया.
युवती का शव तड़के दिल्ली के एक शवदाह घाट ले जाया गया जहां उसका अंतिम संस्कार किया गया.
युवती का शव तड़के दिल्ली के एक शवदाह घाट ले जाया गया जहां उसका अंतिम संस्कार किया गया.
दो सप्ताह पहले युवती का दिल्ली में चलती बस में सामूहिक बलात्कार हुआ था और उसे गंभीर चोटें आईं. उसका इलाज पहले दिल्ली के सफ़दरजंग अस्पताल और फिर सिंगापुर के एक अस्पताल में हुआ.
दो सप्ताह पहले युवती का दिल्ली में चलती बस में सामूहिक बलात्कार हुआ था और उसे गंभीर चोटें आईं. उसका इलाज पहले दिल्ली के सफ़दरजंग अस्पताल और फिर सिंगापुर के एक अस्पताल में हुआ.
दिल्ली में युवती का शव आने से पहले उसके घर के बाहर पुलिसकर्मी तैनात थे.
दिल्ली में युवती का शव आने से पहले उसके घर के बाहर पुलिसकर्मी तैनात थे.
इस घटना के खिलाफ़ राजधानी दिल्ली समेत देश भर में लोगों के विरोध प्रदर्शन हुए.
इस घटना के खिलाफ़ राजधानी दिल्ली समेत देश भर में लोगों के विरोध प्रदर्शन हुए.
युवती के परिवार की निजता का सम्मान करते हुए इस मामले में कहीं भी उसका नाम नहीं लिया गया.
युवती के परिवार की निजता का सम्मान करते हुए इस मामले में कहीं भी उसका नाम नहीं लिया गया.
बलात्कार पीड़िता का अंतिम संस्कार किया गया
बलात्कार पीड़िता का अंतिम संस्कार किया गया
लोगों के आक्रोश सड़कों पर विरोध प्रर्दशनों के रूप में नज़र आया. सरकार ने इनसे निपटने के लिए युवती के इलाज और फिर अंतिम संस्कार के दौरान सुरक्षा के कड़े इंतज़ाम किए.
लोगों के आक्रोश सड़कों पर विरोध प्रर्दशनों के रूप में नज़र आया. सरकार ने इनसे निपटने के लिए युवती के इलाज और फिर अंतिम संस्कार के दौरान सुरक्षा के कड़े इंतज़ाम किए.

 

 

 

 

 

 

 

 
सो .बी बी सी

अपनों की बुरी नज़र का शिकार होती बेटियां

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sad-and-alone-emo-girlदो हफ़्ते पहले दिल्ली में एक चलती बस में एक 23 वर्षीय लड़की का बलात्कार करने वाले लोग भले ही उसकी जान-पहचान के न हों लेकिन सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 10 में से नौ बलात्कारी पीड़िता के दोस्त या घर के लोग ही होते हैं.

ताज़ा खबरों के मुताबिक अपनों की बुरी नज़र का शिकार होने की दो घटनाएं राजस्थान में प्रकाश में आई हैं. एक ओर जहां जयपुर में पुलिस ने एक पिता को अपनी 13 साल की बेटी के बलात्कार के आरोप में गिरफ़्तार किया गया है. वहीं कोटा में एक जीजा को अपनी नाबालिग साली के साथ बलात्कार करने के आरोप में हिरासत में लिया गया है.

राजस्थान की इन दोनों घटनाओं को छोड़ दें तो नज़दीकी रिश्तेदारों के हाथों यौण शोषण के मामले सामने नहीं आ पाते हैं.

विशेषज्ञ कहते हैं कि बलात्कार के अधिकतर मामले पुलिस रिकॉर्ड में दर्ज़ किए ही नहीं जाते. फिर भी दर्ज़ किए गए अपराधों में बलात्कार का अपराध दूसरे ज़ुर्मों के मुकाबले सबसे तेज़ी से बढ़ रहा है.

चिंता की बात यह है कि इसमें सज़ा दूसरे अपराधों की तुलना में सब से कम हो रही है.

सरकार कहती है

राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2010 में बलात्कार के 20,262 मुकदमे दर्ज़ किए गए जबकि 2011 में इस से चार हज़ार ज़्यादा.

आंकड़ों पर नज़र डालें तो बलात्कार के मामलों में मध्य प्रदेश सब से आगे है. पिछले साल राज्य में बलात्कार के 3,406 मुक़दमे दर्ज किये गए थे. अगर शहरों की बात करें तो वर्ष 2011 में बलात्कार के 507 मामलों के साथ दिल्ली सबसे आगे रही. उसी साल मुंबई में 117 मुक़दमे दर्ज किये गए.

पीड़ितों के बीच काम करने वाली संस्था शक्ति वाहिनी के अध्यक्ष रवि कांत कहते हैं कि बलात्कार के मामले तेज़ी से इसलिए बढ़ रहे हैं क्योंकि पुलिस वालों और पुलिसिंग दोनों में कई खामियां हैं.

वह कहते हैं, “पुलिस महकमे को महिलाओं पर अत्याचार के प्रति संवेदनशील बनाने की ज़रुरत है. जांच की खामियों को दूर करना होगा व कानून को और मज़बूत करना होगा”

 

देश की बेटी के शोक में उदयपुर की हर आँखों में आंसू

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उदयपुर ,दिल्ली रेप पीडिता की सिंगापूर में म्रत्यु की खबर सुन कर जहाँ पूरा देश गम में और गुस्से में है वही उदयपुर के युवा , शिक्षा विदद कानून विद जनप्रतिनिधि आदि ने आक्रोश व्यक्त किया और कई संगठनों ने प्रदर्शन किया व् केंडल मार्च निकाला तथा शोशल नेट्वर्किंग से जुड़े युवाओं के एक बड़े ग्रुप ने फतह सागर पर केंडल श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया जिसमे बड़ी तादाद में युवा जुड़ते गए ।

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उदयपुर के लोगों ने जहा सड़कों और फतहसागर पर बलात्कार पीडिता के लिए गुस्सा और शोक प्रकट किया वही शोशल नेटवर्किंग साईट पर भी खुल कर विरोध दर्शाया हर एक की सिर्फ एक ही मांग रही की लड़की को सच्ची श्रधांजलि तभी मिलेगी जब सभी आरोपियों को सजाये मौत मिले ।और इसी शोशल साईट फेसबुक से जुड़े युवाओं के एक बड़े ग्रुप ने फतह सागर पर केंडल श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया जिसमे बड़ी संख्या में युवाओं ने बढ चढ़ कर हिस्सा लिया और दामिनी को श्रद्धांजलि अर्पित की फतहसागर पर शाम को यहाँ आलम था की कोई संगठन नहीं कोई नेता नहीं सभी युवा अपनी मर्जी से आगे आते गए और केंडल मार्च में साथ होते गए।

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कोर्ट चोराहे पर दिन में मुस्लिम महा सभा ने आरोपियों को सजाए मौत की मांग को लेकर प्रदशन किया रास्ता जाम किया और टायर जलाए और मानव श्रंखला बना कर विरोध प्रदर्शन किया तथा आरोपियों को जल्दी से जल्दी सजाए मौत दे कर मृतक की आत्मा को शांति पहुचाने की मांग की ।

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भाजपा महिला मोर्चा की और से दिन में पार्टी कार्यालय में श्रद्धांजलि सभा आयोजित की गयी जिसमे अध्यक्ष अलका मुंदडा सभापति रजनी डांगी , तथा मोर्चा की सभी प्रदेश कार्यकारणी की सदस्य मोजूद थी ।

सभी ने आरोपियों को जल्दी से जल्दी सजाये मौत की मांग की है ।

बोहरा गणेष व्यापार मंडल की और से अध्यक्ष श्याम सिंह यदुवंशी के नेतृत्व में बोहरा गणेष चोराहे पर शोक सभा का आयोजन किया गया जहाँ दामिनी को भावभीनी श्रद्धांजलि दी । भाजपा युवा मोर्चा की और से शहर जिला अध्यक्ष जिनेन्द्र शाश्त्री के नेतृत्व में मात्र शक्ति के साथ युवा शक्ति ने भी श्रद्धांजलि सभा में भाग लिया जिसमे प्रदेश कार्य कारणी के सभी सदस्य मोजूद थे

।मजदूर महासंघ की और से शाम को सूरज पोल चोराहे पर केंडल मार्च निकाला गया और दुष्कर्म करने वाले आरोपियों के सांकेतिक पुतलों को सूरज पोल चोराहे पर फांसी पर लटकाया गया ।

इससे पूर्व सुबह शिव दल मेवाड़ ने भी सूरजपोल चोराहे पर दामिनी को श्रद्धांजलि दी और आरोपियों की फांसी के लिए जम कर नारेबाजी की तथा दल के पदाधिकारियों और सदस्यों ने मानव श्रंखला बना कर विरोश प्रदर्शन किया ।

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बार एसोसियशन के अध्यक्ष भारत जोशी ने कहा की आरोपियों को सजाये मौत होनी चाहिए और इस घटना से कानून में बदलाव कर बलात्कार की सजा उम्र कैद से सजाए मौत होनी चाहिए ।

संसद रघुवीर मीना ने कहा की जिन राक्षसों ने उस निर्दोष मासूम की जान ली है उनको बिना विलम्ब के फंसी पर लटका देना चाहिए ।

राजसमन्द विधायक किरण माहेश्वरी ने कहा बलात्कार पीडिता को सच्ची श्रद्धांजलि तभी होगी जब आरोपियों को बिना विलम्ब के फंसी पर लटका दिया जाए ।

सुखाडिया विश्व विद्यालय के छात्र संघ अध्यक्ष पंकज बोरना ने कहा की पीड़ित लड़की की आत्मा को तभी शांति मिलेगी जब दोषियों को सजाये मौत दी जायेगी

 

सिंगापुर से लड़की का शव रवाना

सिंगापुर के माउंट एलिज़ाबेथ अस्पताल से भारतीय लड़की का शव भारत लाया जा रहा है.
सिंगापुर के माउंट एलिज़ाबेथ अस्पताल से भारतीय लड़की का शव भारत लाया जा रहा है.
तस्वीर में देखा जा सकता है कि अस्पताल के कर्मचारी उनका शव एम्बुलेंस में रख रहे हैं.
तस्वीर में देखा जा सकता है कि अस्पताल के कर्मचारी उनका शव एम्बुलेंस में रख रहे हैं.
ये वही ऐम्बुलेंस है जिसमें बलात्कार का शिकार हुई भारतीय लड़की का शव रखा है. शव देर रात तक भारत आने की संभावना है.
ये वही ऐम्बुलेंस है जिसमें बलात्कार का शिकार हुई भारतीय लड़की का शव रखा है. शव देर रात तक भारत आने की संभावना है.

 

पीड़िता के पार्थिव शरीर को लेकर सिंगापुर से निकला विमान, देर रात पहुंचेगा भारत
पीड़िता के पार्थिव शरीर को लेकर सिंगापुर से निकला विमान, देर रात पहुंचेगा भारत

 

 
सो. बी बी सी

दीवार में छेद कर दूकान से रूपये और कपडे चुरा लेगये

उदयपुर, शहर के बोहरा गणेश क्षेत्र में स्थित दुकान की दीवार में छेद कर चोर नकदी व रेडीमेड कपडे चुरा ले गये।

सूत्रों के अनुसार कैलाश कॉलोनी निवासी कपिल पुत्र लक्ष्मण सिंधी शुक्रवार रात में दुकान बंद कर घर गया। शनिवार को सवेरे आकर दुकान खोली तो दीवार में छेद था तथा गल्ले से १८ हजार रूपये नकद एवं करीब ४५ हजार रूपये के पेंट, टीशर्ट, शर्ट गायब थे। इस संबंध में प्रतापनगर थाना पुलिस से पूछताछ करने पर ऐसी किसी घटना व प्रकरण दर्ज होने से इनकार किया।

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फायरिंग करने के 4 आरोपी गिरफ्तार

arrestउदयपुर, शहर के गांधीनगर कोलोनी में शातिर बदमाश के मकान पर फायरिंग एवं तोड फ़ोड करने वाले ४ बदमाशों को पुलिस ने गिरफ्तार किया।

अम्बामाता थाना पुलिस ने २४ दिसंबर सांय गांधीनगर मल्ला तलाई निवासी दिलिप ढोली (पंवार) के घर में घूस तोडफ़ोड करने तथा फायरिंग करने के आरोपी चूडीगरों का मोहल्ला निवासी मोहम्मद हुसैन पुत्र मोहम्मद युसुफ कुंजडा, कुंजरवाडी निवासी मोहम्मद वसीम उर्फ़ चिमनी उर्फ़ जैक पुत्र मोहम्मद अकरम कुंजडा, फारूख आजम कोलोनी निवासी मोहिन अख्तर उर्फ़ मोनू पुत्र अरशद काजी, रजा कोलोनी निवासी जावेद अख्तर पुत्र मोहम्मद गनी को गिरफतार किया। जबकि शेष आरोपियों की तलाश जारी है।

उल्लेखनीय है कि २४ दिसंबर सांय मुखर्जी चौक निवासी हिस्ट्रीशीटर इमरान कुंज$डा ने एक लाख रूपये की मांग को लेकर अपने साथियों के साथ अम्बामाता थाना क्षेत्र गांधीनगर निवासी दिलीप पंवार (ढोली) के घर पहुंच कर उत्पात मचाया। इन समाज कंटकों ने दिलीप के परिजनों के साथ मारपीट कर एक बालिका पर बीयर की बोतल से प्रहार कर घायल कर दिया। वहीं हवाई फायर करते हुए वहां खडे वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया। इस दौरान यह उचक्के दिलीप के पडौसियों के दरवाजों पर जाकर रिवाल्वर बताते हुए गवाही देने की स्थिति में नतीजा भुगतने की चेतावनी भी देते रहे। यहां से ताण्डव कर यह गिरोह मुखर्जी चौक पहुंचा जहां कुख्यात अपराधी आजम के चाचा इकबालुद्दीन के अण्डे के थैले को क्षतिग्रस्त कर दिया।

घटना की सूचना मिलने पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर तेजराज सिंह, पुलिस उप अधीक्षक (पश्चिम) दयानंद सारण, अम्बामाता थानाधिकारी रणमल मय टीम ने घटनास्थल पहुंच कर मौका निरीक्षण कर ४ खाली कारतूस एवं क्षतिग्रस्त वाहन को बरामद कर बदमाशों को धर दबोचने के लिए शहर में नाकाबंदी कराई थी। इस मामले में पुलिस ने प्रकरण दर्ज कर अनुसंधान अधिकारी दयानंद सारण ने इमरान कुंजडा, मोहम्मद हुसैन, जावेद अख्तर, मोईन अख्तर उर्फ़ मोनू, मोहम्मद वसीम उर्फ़ चिमनी उर्फ़ जैक, सद्दाम व साथियों की लिप्तता पाये जाने पर बदमाशों की तलाश में टीमें गठित की थी।

हम अपनी नाकामी पर शर्मिन्दा है

उदयपुर , २३ वर्षीय मासूम के साथ बलात्कार और फिर वहशियाना हरकत और फिर उस मासूम की मौत ये सब देख के किसी पे नहीं खुद पे, एक इंसान होने पर शर्मिंदगी होती है । आज आदमखोर जानवर भी हमे देख के कह रहे होंगे और खुदा का शुक्र अदा कर रहे होंगे के के अच्छा है जो हम इंसान नहीं है अगर इंसान ऐसे होते हो भाई नहीं बनना हमे इंसान और ऊपर बैठा खुदा भी सोच रहा होगा के मेने तो अच्छे खासे इंसान बनाये थे लेकिन ये केसे वहशी दरिन्दे बन गए । आज सच में किसी को दोष देने का दिल नहीं है बस खुद की नाकामी पर शर्मिंन्दा है के एक बेटी एक बहन के लिए कुछ भी नहीं कर पाए।

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न तो पुलिस बन के उसकी आबरू बचा पाए और न ही बड़े से बड़े ओहदे पे बैठ कर उन गुनाहगारों को अभी तक सजा दिला पाए और न ही डॉक्टर बन के उसकी जान बचा पाए एक छोटी सी तसल्ली सिर्फ इस बात की के एक हिन्दुस्तानी बन कर उस मासूम की मौत में दुखी जरूर है , उसके गुनाहगारों के लिए मौत की सजा के लिए हम एक जरूर है ।

लेकिन क्या इस आवाज़ इस आग को हम यही ख़तम कर देगे क्या ऐसा नहीं हो सकता के आज उनकी मौत की मांग के साथ साथ खुद एक फैसला ले कि किसी को दोष नहीं देते हुए हम अपनी नज़र को पाक करे औरत के प्रति हम हमारी मानसिकता बदलें ।और हमारे आस पास का “माहोल हम स्वच्छ” रखें हर बुरी नज़र पर हमारी नज़र रखे तो फिर शायद ऐसा करने की कभी कोई जुर्रत न करे और शायद ये हमारी उस मासूम को सच्ची श्रद्धांजलि होगी ।

भाजपा हाईकमान अभी कटारिया के पक्ष में झुकता नजर आ रहा है पार्टी के द्वन्द में!

Gulab chand katariaराजस्थान में व्यक्ति गत करिशमा और राजनैतिक संगठन के बीच सर्वोच्चता की लडाई चल रही है जहां भाजपा सरकार के पूर्व गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने उदयपुर जिले में गागुंदा से जनसम्पर्क यात्रा आरंभ कर पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को सीधी चुनौती दी है।

इस वर्ष मई में पहले कटारिया को अपनी लोक जागरण यात्रा राजे की धमकी के बाद स्थतगित करनी पडी थी, राजे ने जिन्होंने राष्ट्रीय नेतृत्व पर दबाव बनाया था। अपने पूर्व गृहमंत्री को राजी करने के लिये कि वो अपने मिशन से दूर रहें। राजे इसे अपने नेतृत्व को चुनौती मान रही थीं।

नई दिल्ली और जयपुर दोनों जगह यह पूछा जा रहा है कि तब से अब तक ऐसा क्या हुआ कि कटारिया में यात्रा आरंभ करने का साहस आ गया। संभावित उत्तर ये दिए जा रहे हैं कि गुजरात को जीता जा चुका है और अब पडौसी राज्य राजस्थान की बारी है जिसे भाजपा को राज्य के साथ केन्द्र में भी सत्ता में वापस लाना है।

इस प्रश्न का दूसरा जवाब है कि यदि इस मुद्दे को लटके रहने दिया जाता है, तो सामूहिक नेतृत्व अथवा एक व्यक्ति की सर्वोच्चता का मुद्दा पार्टी की विश्वसनीयता को कमजोर करेगा, जिसकी वैचारिक रूप से यह मान्यता रही है कि संगठन व्यक्ति से ऊपर है तथा राष्ट्रीय हित पार्टी से भी सर्वोपरि होता है।

एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि यह मैसेज पार्टी में हर एक को जाना चाहिये, चाहे वो साधारण कार्यकर्ता हों या राजसी पृष्ठ भूमि से, कि सामान्यतया संघ और विशेष रूप से पार्टी ऐसी स्थिति नहीं आने देना चाहती कि कोई एक व्यक्ति पार्टी पर हुकुम चलाये। उन्होंने आगे जोडा कि संघ अफसोस करता है कि उसने गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी को इस स्तर तक बढने दिया कि आज वे किसी की भी परवाह नहीं करते।

पर्यवेक्षकों का कहना है कि कटारिया को इस बार न केवल राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ का मूक समर्थन है बल्कि राष्ट्रीय नेतृत्व के वर्ग का समर्थन प्राप्त है, जो पूर्व मुख्यमंत्री के ’निरंकुश’ रवैये से नाराज है। उनका कहना है कि राजे सत्ता का सुख भोगना चाहती है, उसके लिये ’खून-पसीना’ बहाये बिना।

एक वरिष्ठ नेता ने इस संवाददाता को बताया कि ’’ वे जयपुर आकर आगे से (प्रं*ट से) नेतृत्व नहीं करना चाहती, पर धौलपुर में अपने महल में बैठकर पार्टी पर रिमोट कंट्रोल करना चाहती है।’’ वे गत सप्ताह जयपुर में कोर कमेटी की मीटिंग तक में शामिल नहीं हुई, जिसे संघ तथा राष्ट्रीय नेतृत्व उनका अपनी ’एक्सकलूजिविटी’ (विशिष्ठता) दर्शाने का प्रयास मानना है।

जहां राज्य के नेताओं ने जयपुर मीटिंग में उनकी अनुपस्थिति पर टिप्पणी नहीं की थी, कटारिया ने जरूर कहा था,’’ यह बेहतर होता यदि राजे ने अपना फीडबैक अभियान जयपुर में किया होता।’’

केन्द्रीय नेतृत्व ’देखों और ’इंतजार करों’ का खेल खेल रहा है और उसने कटारियों को मेवाड क्षैत्र में अपनी जनसम्पर्क यात्रा शुरू करने के लिये गोपनीय स्वीकृति दी है। यह क्षैत्र भीलवाडा जिले के साथ, राज्य विधानसभा में 36 विधायक भेजता है।

केन्द्रीय नेतृत्व को राजस्थान के महत्व का भी अहसास है, क्योंकि यहां से 25 लोकसभा सांसद चुने जाते हैं और 2014 के आम चुनावों के बाद यह राष्ट्रीय राजनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभायेगा। राजनीति के भविष्य वक्ताओं का यह मानना है कि राज्य में कांग्रेस के खिलाफ हवा हि रही है तथा अशोक गहलोत सरकार के फीके प्रदर्शन ने 2013 के विधानसभा चुनावों में भजपा की वापसी के लिये जमीन तैयार की है। एक भाजपा नेता ने दिल्ली में कहा कि कटारिया कार्यकर्ताओं से निकले हैं तथा उनका राज्य की, विशेषकर उदयपुर क्षेत्र की जनता से सीधा जुडाव है, और उन्हें एक जन नेता के रूप में उभारा जा सकता है व वे विधानसभा चुनाव में विजय के लिये पार्टी का नेतृत्व कर सकते है। उनका मानना है कि राजे के झांसे(ब्लफ) को निपटाना होगा, वरना बहुत देर हो जायेगी। राजे राजस्थान की पहली महिला मुख्यमंत्री थीं। यह राज्य विचारों में तथा शासन की स्टाइल में सामन्तवादी रहा है। राजे ने शासन में रहते समय राज्य के संघ कार्यकर्ताओं पर ध्यान नहीं दिया बल्कि उनकी अनदेखी की।

वे अपने आपकों ’राजसी’ मानती है, जिसका अधिकार है शासन करना। भाजपा इस ’राजसी करिश्में’ का लाभ तो लेना चाहती है पर यह ’राजसी व्यवहार’ स्थानीय नेताओं की नाराजगी बढाता है, क्योंकि उनका मानना है कि यह उनकी कडी मेहनत थी जिससे भाजपा इस स्थिति(स्तर) तक पहुंची। राज्य एक नेता ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर यह बात कही।

राजे और पार्टी के बीच संघर्ष आने वाले सप्ताहों और महीनों में और तीप होगा। इसका पहला संकेत था राज्य के वरिष्ठ नेता रामदास अग्रवाल का मंगलवार को यह कहना कि पार्टी किसी एक नेता का पर्याय नहीं है।

उनहोंने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी और एल के आडवाणी जैसे महान नेताओं ने कभी ऐसे कार्यकर्ताओं को प्रोत्साहन नहीं दिया जो कहते थे कि पार्टी ’ ऐ (अटलबिहारी) से शुरू होकर ’ए’ आडवाणी पर समाप्त होती है, पर इन दिनों हम सुनते हैं कि पार्टी ’वी’ से शुरू होकर ’वी’ पर समाप्त होती है। वसुंधरा का नाम लिये बिना उन्होंने कहा कि यह प्रवृत्ति खतरनाक है।

अग्रवाल ने स्पष्ट शब्दों में कहा,’’ राजस्थान में पार्टी ’ ए बी सी डी’ से नहीं चलती बल्कि विचारधारा से चलती है। पार्टी किन्हीं विशिष्ट नेताओं तक सीमित नहीं है तथा कार्यकर्ताओं को समझना चाहिये।’’ वे पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के जन्म दिवस के अवसर पर पार्टी कार्यकर्ताओं को सम्बोधित कर रहे थे। पार्टी ने यह दिवस सुशासन दिवस के रूप में मनाया है।