सेवक नहीं महारानी साहिबा और महाराज साहब कहिये।

Date:

उदयपुर। राजस्थान गौरव यात्रा के अंतिम दिन भिंडर में पुराने राजे महाराजाओं का ज़माना याद आगया जब ऊँचे सिंहासन पर महाराज और महरानी बैठे हुए रहते थे और सामने उनकी प्रजा जमीन पर बैठे बैठे वाह वाही करती थी। लोकतंत्र के इस काल में एसा द्रश्य शायद ही कही देखने को मिले। लेकिन हमारा ये सोभाग्य हुआ कि हमने वल्लभनगर विधानसभा क्षेत्र के भिंडर कसबे में राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और वल्लभनगर विधायक रंधीर सिंह भिंडर की सभा के दौरान यह दर्शय देखा। यह बात अलग है कि यहाँ पर यह जनता के सेवक के रूप में बैठे हुए थे लेकिन संबोधन महाराज साहब और महारानी साहिबा के नाम से ही हो रहा था।
भिंडर की सभा में एक तरह महारानी साहिबा तो दूसरी तरफ महाराज साहब। जी हाँ हम इसी सदी कीबात कर रहे है। आप अगर सोच रहे होंगे कि राजा महाराजों का ज़माना तो लद गया अब किसी को महाराज या महाराणा नाम से संबोधित नहीं किया जाता लेकिन राजस्थान गौरव यात्रा के आखरी दिन भिंडर में सभा के दौरान स्टेज से माइक पर जो आवाजें आरही थी वो सिर्फ महारानी साहिबा और महाराज साहब ही आरही थी। स्टेज के सामने आम प्रजा बैठी थी। सभा के दौरान जिस किसी ने मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के लिए जिस किसी ने संबोधित किया महारानी साहिबा के नाम से ही संबोधित किया जबकि वल्लभनगर के विधायक रंधीर सिंह भिंडर को महाराजा साहब से ही संबोधित किया जाता है।
लोकतंत्र है ये नेता है और नेता जनता की सेवा के लिए आते है और खुद जनता के सेवक कहलाते है लेकिन शायद सेवक कहलाना इन्हें पसंद नहीं। चाहे खानदान राजसी हो लेकिन जब जनता के बिच में है तो जनता के सेवक ही कहलायेगें अब ये बात अलग है कि सत्ता में आने के बाद यह महाराजा साहब या महारानी साहिबा कहलाना पसंद करें।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Share post:

Subscribe

spot_imgspot_img

Popular

More like this
Related

Cleopatra Free Slots Play

Cleopatra-gleufmasjienspeletjie deur IGT is in 2012 bekendgestel. Dit het...

Poultry Road

Poultry Road game by InOut Gamings is a burst...

Ставки получите и распишитесь спорт в Melbet

В рассуждении сего надобно ввести антре мобильного телефона али...

Melbet Вход на официальный сайт в Кыргызстане

В своем собственном офисе игроки множат стоять у власти...