IMG_0544
IMG_0553
जिले के थानों में १००० से अधिक वाहन लावारिस पड़े, पुलिस वाले चुरा रहे जब्त वाहनों के पाटर््स
उदयपुर। जिले के पुलिस थानों में जब्त एक हजार से अधिक वाहन कबाड़ में तब्दील हो गए हैं। इसमें से अधिकतर वाहन पुलिस द्वारा चोरों या फिर दुर्घटना के दौरान जब्त किए गए है। वाहन जब्ती के समय तो ठीक-ठाक हालत में होते हैं, लेकिन वर्षों से खुले में पड़े होने के कारण इनकी हालत कंडम हो चुकी है। पता चला है कि हादसे या चोरों से जब्त वाहनों में से दस फीसदी ही उनके मालिक तक पहुंच पाते हैं। जब्त वाहनों को उनके मालिक तक पहुंचाने के लिए पुलिस दिलचस्पी नहीं दिखाती। जिसके चलते थानों के एक हिस्से में पड़े वाहन कबाड़ बनते जा रहे हैं। इन वाहनों की स्थिति इस प्रकार की हो चुकी है कि इन्हें केवल कबाड़ी ही खरीद सकता है, वो भी केवल कबाड़ के भाव में, क्योंकि उन्हें सही करना किसी भी मिस्त्री के हाथ में नहीं है।
गायब हैं पाटर््स : जब्त वाहन की हालत प्रारंभ में ठीक ही होती है, लेकिन थानों में पहुंचने के बाद इनकी हालत कबाड़ हो जाती है। थानों में मोटर साइकिल की जब्ती अधिक होती है। अधिकतर वाहन अब अधूरे है, किसी के टायर गायब है, तो किसी का हैडलाइट, तो किसी का साइलेंसर। इससे पता चलता है कि इसके पार्ट पुलिसकर्मी अपने वाहनों की जरूरत के हिसाब से गायब कर लेते हैं।
नीलामी भी नहीं करते : जब्त वाहनों को उनके मालिकों द्वारा नहीं छुड़वाने पर नीलाम करने का प्रावधान है, लेकिन विभाग द्वारा इस कार्य में सुस्ती बरती जा रही है, जिससे थानों में वाहनों की संख्या बढ़ती जा रही है। जिले के कई थानों में पड़े वाहनों का तो रिकार्ड भी नहीं मिलता है।
सभी प्रकार के वाहन : जिले के थानों में मोटर साइकल ही नहीं, बल्कि रिक्शा, टैम्पो, टैक्सी, जीप बोलेरो सहित कई वाहन नजर आ जाते हैं। इनकी भी हालत पूरी तरह से कंडम हो चुकी है। इसमें केवल नए वाहन ही सही सलामत है, लेकिन कुछ समय निकलने के बाद वह भी कबाड़ बन जाते हैं।
IMG_0555
क्या कहते हैं एसपी साहब
॥ सवाल – थानों में पड़े वाहनों की नीलामी क्यों नहीं की जाती है?
जवाब – थानोंं में जब्त किए गए वाहनों की नीलामी के लिए कोर्ट से आदेश आते हैं। कोर्ट में लंबे समय तक केस चलने के कारण थानों में वाहनों के संख्या बढ़ती जा रही है।
॥ सवाल – पुलिस वाहनों के मालिकों को खोजने के क्या प्रयास कर रही है?
जवाब – पुलिस चोरी के वाहनों के चेचिस नंबर के आधार पर आरटीओ से ब्योरा मांग कर उनके मालिकों को सूचना देती है। जिस पर वाहन मालिक उसके वाहन के कागज कोर्ट में पेश कर वाहन को ले जा सकता है। यह प्रयास निरंतर किया जाता है। जिससे वाहन उनके मालिकों तक पहुंच सके।
॥ सवाल – थानों ने वाहनों के पार्ट गायब क्यों जाते है?
जवाब – थानों में से वाहनों के पार्ट चोरी होने की अभी तक कोई भी शिकायत नहीं मिली है, लेकिन अगर कोई व्यक्ति इस प्रकार की शिकायत करता है, तो मामला दर्ज किया जाएगा। थाना स्तर पर मामला दर्ज नहीं होने पर वह कोर्ट से मामला दर्ज करा सकता है।

Previous articleनिजी स्कूल मालिक और सरकार आमने-सामने
Next articleकठपुतली कला ने खोया अमूल्य पारखी

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here